Maykada Shayari: मयकदे पर कहे गए मशहूर शायरों के कुछ चुनिंदा अल्फाज़...


2023/10/31 22:52:31 IST

फ़िराक़ गोरखपुरी

    आए थे हँसते खेलते मय-ख़ाने में 'फ़िराक़'.. जब पी चुके शराब तो संजीदा हो गए..!!

ख़ुमार बाराबंकवी

    गुज़रे हैं मय-कदे से जो तौबा के ब'अद हम.. कुछ दूर आदतन भी क़दम डगमगाए हैं..!!

नज़ीर अकबराबादी

    दूर से आए थे साक़ी सुन के मय-ख़ाने को हम.. बस तरसते ही चले अफ़्सोस पैमाने को हम..!!

असग़र गोंडवी

    एक ऐसी भी तजल्ली आज मय-ख़ाने में है.. लुत्फ़ पीने में नहीं है बल्कि खो जाने में है..!!

अख़्तर शीरानी

    दिन रात मय-कदे में गुज़रती थी ज़िंदगी.. 'अख़्तर' वो बे-ख़ुदी के ज़माने किधर गए..!!

बशीर बद्र

    प्यार ही प्यार है सब लोग बराबर हैं यहाँ.. मय-कदे में कोई छोटा न बड़ा जाम उठा..!!

शैख़ ज़हूरूद्दीन हातिम

    शैख़ उस की चश्म के गोशे से गोशे हो कहीं.. उस तरफ़ मत जाओ नादाँ राह मय-ख़ाने की है..!!

View More Web Stories