Bhopal Gas Tragedy: भोपाल गैस कांड में केंद्र को झटका, सुप्रीम कोर्ट ने खारिज की मुआवजे की याचिका

भोपाल गैस त्रासदी मामले में केंद्र को सुप्रीम कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने भोपाल गैस त्रासदी के लिए यूनियन कार्बाइड से और मुआवजे की मांग वाली केंद्र की याचिका को मंगलवार को खारिज कर दिया है। बता दें कि 1984 की भोपाल गैस त्रासदी को दुनिया के सबसे खतरनाक इंडस्ट्रियल हादसों में गिना जाता है। भोपाल की यूनियन कार्बाइड कंपनी में गैस रिसाव की वजह से 3000 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी।

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भोपाल गैस त्रासदी मामले में केंद्र को सुप्रीम कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने भोपाल गैस त्रासदी के लिए यूनियन कार्बाइड से और मुआवजे की मांग वाली केंद्र की याचिका को मंगलवार को खारिज कर दिया है। बता दें कि 1984 की भोपाल गैस त्रासदी को दुनिया के सबसे खतरनाक इंडस्ट्रियल हादसों में गिना जाता है। भोपाल की यूनियन कार्बाइड कंपनी में गैस रिसाव की वजह से 3000 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी।

दरअसल, केंद्र सरकार ने भोपाल गैस कांड को लेकर सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। केंद्र ने याचिका में मांग की थी कि इस मामले को फिर से खोला जाए। इसके साथ ही याचिका में यूनियन कार्बाइड की फर्मों को गैस रिसाव आपदा के पीड़ितों के लिए 7,844 करोड़ रुपये के अतिरिक्त मुआवजा देने का निर्देश देने की मांग भी की थी। आज सुप्रीम कोर्ट ने इस याचिका को खारिज कर दिया है।

याचिका को लेकर केंद्र ने तर्क दिया था कि 1989 में हुए समझौते के दौरान इंसानी जिंदगियों और पर्यावरण को हुए वास्तविक नुकसान सही से आकलन नहीं किया जा सका था। बता दें कि 2 दिसंबर साल 1984 की रात से मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की हवा जहरीली हो रही थी, लेकिन तीन तारीख लगते ही यह हवा जानवेला हो गई। इसकी वजह यूनियन कार्बाइड की फैक्ट्री से मिथाइल आइसोसाइनेट गैस का लीक होना था।

2 से 3 दिसंबर की रात फैक्ट्री के पास ही झुग्गी-बस्ती में दूर-दराज के गांव से आकर लोग रह रहे थे। झुग्गी-बस्ती में रहने वाले कुछ लोगों की तो नींद के दौरान ही मौत हो गई। इसके बाद हालात और भी खराब होते गए। कई लोग तो रास्ते में ही दम तोड़ रहे थे। अस्पताल में भी लोगों की भीड़ लगी हुई थी। डॉक्टरों को भी कुछ समझ नहीं आ रहा था कि आखिर हो क्या रहा है और इन लोगों को क्या हुआ है और इनका क्या इलाज करना है?

भोपाल गैस त्रासदी की गिनती दुनिया के सबसे खतरनाक औद्योगिक दुर्घटनाओं में होती है। इस हादसे में कितनों लोगों की जाने गई, कितने ही लोग अपंग हो गए है। इसका कोई सटीक आंकड़ा नहीं है। सरकार के आंकड़े के मुताबिक, इस हादसे में 3,787 लोगों की मौत हुई थी, जबकि 5.74 लाख से अधिक लोग घायल और अपंग हो गए थे। जबकि सुप्रीम कोर्ट में पेश किए गए एक आंकड़े में बताया गया है था कि इस हादसे में 15,724 लोगों की जान गई थी। First Updated : Tuesday, 14 March 2023

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