सत्येंद्र जैन ने ट्रायल कोर्ट के आदेश को दी चुनौती, किया हाईकोर्ट का रूख

जेल में बंद आप मंत्री सत्येंद्र जैन ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उन्हें जमानत देने से इनकार करने के ट्रायल कोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए दिल्ली उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया है।

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रिपोर्ट। मुस्कान

नई दिल्ली। जेल में बंद आप मंत्री सत्येंद्र जैन ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उन्हें जमानत देने से इनकार करने के ट्रायल कोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए दिल्ली उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया है।

जैन ने कहा कि वह गवाहों को प्रभावित करने या सबूतों के साथ छेड़छाड़ करने की स्थिति में नहीं हैं और ईडी के ईसीआईआर (एफआईआर के बराबर) के मामले में 30 सितंबर, 2017 को धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत दर्ज मामले में राहत दिए जाने पर उड़ान जोखिम नहीं है।

जैन ने ट्रायल कोर्ट के 17 नवंबर के उस आदेश को चुनौती दी है जिसमें उनकी जमानत याचिका को इस आधार पर खारिज कर दिया गया था कि वह प्रथम दृष्टया अपराध की आय को छिपाने में शामिल थे। अपनी याचिका में आप नेता ने दावा किया कि चूंकि उनके पास कोई आय नहीं है, इसलिए पीएमएलए के तहत अपराध नहीं बनता है।

इसमें दावा किया कि विशेष न्यायाधीश और ईडी ने पूरी तरह से आवास प्रविष्टियों के आधार पर अपराध की आय की पहचान करके पीएमएलए को गंभीर रूप से गलत तरीके से पढ़ा और गलत तरीके से लागू किया है, जो स्वयं अधिनियम के तहत दंडनीय अपराध का कारण नहीं बन सकता है।

इसमें कहा गया है कि पीएमएलए के तहत अपराध की आय अनुसूचित आपराधिक गतिविधि के परिणामस्वरूप प्राप्त होती है। आपको बता दें कि ईडी द्वारा 30 मई को गिरफ्तार किए गए जैन फिलहाल न्यायिक हिरासत में हैं। उन्हें सीबीआई द्वारा दर्ज मामले में 6 सितंबर, 2019 को ट्रायल कोर्ट द्वारा नियमित जमानत दी गई थी।

First Updated : Tuesday, 29 November 2022