ज्ञानवापी मस्जिद को लेकर हिंदू पक्ष के वकील का बड़ा दावा, बोले- 'मौजूदा ढांचे के निर्माण से पहले वहां एक बड़ा हिंदू मंदिर था'

ज्ञानवापी मस्जिद की ASI सर्वे को लेकर हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने एक बड़ा दावा किया है. उन्होंने कहा कि, मौजूदा ढांचे के निर्माण से पहले वहां एक बड़ा हिंदू मंदिर मौजूद था,

Deeksha Parmar
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Gyanvapi case: वाराणसी कोर्ट के आदेश के बाद ज्ञानवापी मस्जिद का ASI सर्वे कराया गया था. सर्वे करने के बाद 18 दिसंबर को जिला जज की अदालत में ASI ने अपनी रिपोर्ट सौंपी थी. इसी रिपोर्ट को लेकर हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने बड़ा दावा किया है.विष्णु शंकर जैन ने कहा कि, जिला जज के नकल विभाग कार्यालय ने उन्हें ज्ञानवापी मस्जिद की एसएआई सर्वे रिपोर्ट सौंप दी है. इस रिपोर्ट को लेकर गुरुवार को उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस की है जिसमें कई बड़े दावे किए हैं.

हिंदू पक्ष का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील विष्णु शंकर जैन ज्ञानवापी मामले पर प्रेस कॉन्फ्रेंस में जानकारी दे रहे हैं कि, "एएसआई ने कहा है कि सर्वेक्षण के दौरान मौजूद और पहले से मौजूद ढांचे पर कई शिलालेख देखे गए. उन्होंने बताया कि, "एएसआई ने कहा है कि मस्जिद के विस्तार और सहन के निर्माण के लिए मौजूद मंदिरों के कुछ हिस्सों को थोड़े से संशोधनों के साथ पुन: उपयोग किया गया था. ए गलियारों में स्तंभों और प्लास्टरों के सूक्ष्म अध्ययन से पता चलता है कि वे मूल रूप से पहले से मौजूद हिंदू मंदिर का हिस्सा थे.

वकील विष्णु शंकर जैन ने प्रेस कांफ्रेंस में ये बताए कि, "एएसआई ने कहा है कि सर्वेक्षण के दौरान, मौजूदा और पहले से मौजूद संरचना पर कई शिलालेख देखे गए थे. वर्तमान सर्वेक्षण के दौरान कुल 34 शिलालेख दर्ज किए गए थे और 32 मुद्रांकित पृष्ठ लिए गए थे. ये वास्तव में शिलालेख हैं पहले से मौजूद हिंदू मंदिर के पत्थर, जिन्हें मौजूदा संरचना के निर्माण, मरम्मत के दौरान पुन: उपयोग किया गया है.

उन्होंने ये भी बताया कि, संरचना में पहले के शिलालेखों के पुन: उपयोग से पता चलता है कि पहले की संरचनाएं नष्ट हो गई थीं और उनके हिस्सों को मौजूदा संरचना की निर्माण मरम्मत में पुन: उपयोग किया गया था. इन शिलालेखों में जनार्दन, रुद्र और महेश्वर जैसे देवताओं के तीन नाम हैं.

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25 January 2024, 09:41 PM IST

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