रेपो रेट पर आज आएगा आरबीआई का फैसला, आम आदमी को मिल सकती है राहत या झटका
RBI की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक का आज फैसला आने वाला है. ये देखना दिलचस्प होगा कि आरबीआई मौजूदा आर्थिक हालात और वैश्विक चुनौतियों के बीच आम लोगों को कोई राहत देता है या नहीं.

भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक का आज फैसला आने वाला है, जिसका सभी को बेसब्री से इंतजार है. यह देखना दिलचस्प होगा कि आरबीआई मौजूदा आर्थिक हालात और वैश्विक चुनौतियों के बीच आम लोगों को कोई राहत देता है या नहीं. खासकर, सबकी नजरें इस बात पर टिकी हैं कि क्या रेपो रेट में कोई बदलाव होगा.
गौरतलब है कि इस साल आरबीआई अब तक तीन बार रेपो रेट में कटौती कर चुका है. पहली दो बैठकों में 0.25-0.25 फीसदी और जून में 0.50 फीसदी की कटौती की गई थी. हालांकि, इस बार जानकारों का मानना है कि शायद आरबीआई किसी तरह का बदलाव न करे और रेपो रेट को यथावत रखे.
क्या होता है रेपो रेट और इसका असर क्या है?
रेपो रेट वह ब्याज दर होती है जिस पर वाणिज्यिक बैंक, आरबीआई से कम समय के लिए कर्ज लेते हैं. रेपो रेट में बदलाव का सीधा असर आम आदमी की जेब पर पड़ता है, क्योंकि यही दर लोन की लागत और उसकी उपलब्धता तय करती है.
यदि रेपो रेट में कटौती होती है, तो बैंकों के लिए आरबीआई से पैसा सस्ता हो जाता है, जिससे बैंक उपभोक्ताओं को सस्ती दरों पर लोन देने लगते हैं. इससे होम लोन, कार लोन और अन्य लोन सस्ते हो सकते हैं. वहीं, अगर रेपो रेट में वृद्धि होती है तो लोन महंगे हो सकते हैं. हालांकि, रेपो रेट में बदलाव का असर बैंकों की नीति पर भी निर्भर करता है कि वे इसका लाभ ग्राहकों तक पहुंचाते हैं या नहीं.


