राजस्थान के टोंक में नव वर्ष की पूर्व संध्या पर 150 किलोग्राम विस्फोटक से भरी कार जब्त, 2 गिरफ्तार

राजस्थान के टोंक जिले में पुलिस ने एक वाहन से भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री बरामद कर दो लोगों को गिरफ्तार किया.

Suraj Mishra
Edited By: Suraj Mishra

नववर्ष की पूर्व संध्या पर राजस्थान में एक संभावित बड़ी अनहोनी को समय रहते टाल दिया गया. बुधवार को टोंक जिले में पुलिस ने एक वाहन से भारी मात्रा में विस्फोटक सामग्री बरामद कर दो लोगों को गिरफ्तार किया. जब्त किया गया अमोनियम नाइट्रेट वही रासायनिक पदार्थ है, जिसका इस्तेमाल 10 नवंबर को दिल्ली के लाल किले के पास हुए विस्फोट में किया गया था.

150 किलोग्राम अमोनियम नाइट्रेट बरामद 

पुलिस अधिकारियों के अनुसार, टोंक जिला पुलिस की विशेष टीम (डीएसटी) को खुफिया सूचना मिली थी कि एक कार में अवैध विस्फोटक ले जाया जा रहा है. सूचना के आधार पर बरोनी थाना क्षेत्र में नाकाबंदी की गई और एक मारुति सियाज़ कार को रोका गया. तलाशी के दौरान कार में रखी यूरिया खाद की बोरियों के भीतर छिपाकर रखा गया करीब 150 किलोग्राम अमोनियम नाइट्रेट बरामद किया गया.

इस मामले में दो आरोपियों को हिरासत में लिया गया है. उनकी पहचान सुरेंद्र पटवा और सुरेंद्र मोची के रूप में हुई है. दोनों आरोपी बूंदी जिले के रहने वाले बताए जा रहे हैं. प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि ये लोग विस्फोटक सामग्री बूंदी से टोंक की ओर ले जा रहे थे, जहां इसकी आपूर्ति की जानी थी.

टोंक पुलिस अधीक्षक मृत्युंजय मिश्रा ने क्या कहा?

टोंक के पुलिस अधीक्षक मृत्युंजय मिश्रा ने बताया कि अमोनियम नाइट्रेट के अलावा आरोपियों के पास से 200 विस्फोटक बैटरियां और लगभग 1100 मीटर लंबा सेफ्टी फ्यूज तार भी बरामद किया गया है. इन तारों के छह बंडल जब्त किए गए हैं. जिस मारुति सियाज़ कार के जरिए यह सामग्री ले जाई जा रही थी, उसे भी पुलिस ने कब्जे में ले लिया है.

एसपी मिश्रा ने कहा कि इस पूरी कार्रवाई को विशिष्ट खुफिया जानकारी के आधार पर अंजाम दिया गया. यदि यह विस्फोटक अपने गंतव्य तक पहुंच जाता, तो इससे गंभीर खतरा पैदा हो सकता था. फिलहाल पुलिस आरोपियों से गहन पूछताछ कर रही है.

जांच में जुटी पुलिस 

पुलिस यह पता लगाने में जुटी है कि विस्फोटक सामग्री कहां से लाई गई थी, इसका इस्तेमाल किस उद्देश्य के लिए किया जाना था और इसके पीछे कौन लोग या गिरोह सक्रिय हैं. जांच में यह पहलू भी शामिल है कि कहीं यह खेप अवैध खनन या किसी अन्य गैरकानूनी गतिविधि के लिए तो नहीं लाई जा रही थी. अधिकारियों के अनुसार, मामले की जांच अभी जारी है और आने वाले दिनों में और खुलासे हो सकते हैं.

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