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UP News: फास्ट फूड की लत पड़ी भारी, 11वीं की छात्रा की आंतों में हो गया छेद...एम्स में चला इलाज, लेकिन नहीं बच सकी जान

अमरोहा की 11वीं कक्षा की छात्रा अहाना की फास्ट फूड की आदत के कारण आंतें गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त हो गईं. इलाज के बावजूद एम्स में उसकी मौत हो गई, जिससे परिवार शोक में है और यह घटना जंक फूड के खतरे की चेतावनी बनी.

Yaspal Singh
Edited By: Yaspal Singh

अमरोहाः फास्ट फूड का बढ़ता चलन आज की पीढ़ी में आम हो गया है, लेकिन इसके गंभीर दुष्परिणाम कितने खतरनाक हो सकते हैं, इसकी मिसाल उत्तर प्रदेश के अमरोहा की रहने वाली अहाना की कहानी है. चाऊमीन, मैगी, पिज्जा और बर्गर जैसे जंक फूड की शौकीन अहाना अब इस दुनिया में नहीं रही. उसकी असमय मौत ने न सिर्फ उसके परिवार को गहरे सदमे में डाल दिया, बल्कि समाज के लिए भी एक चेतावनी बनकर सामने आई है.

पढ़ाई में थी होनहार छात्रा

अमरोहा के मोहल्ला अफगानान निवासी किसान मंसूर खान की सबसे छोटी बेटी अहाना पढ़ाई में काफी तेज थी. वह शहर के हाशमी गर्ल्स इंटर कॉलेज में कक्षा 11 की छात्रा थी. परिवार में माता-पिता के अलावा एक भाई और दो बहनें हैं. घरवाले बताते हैं कि अहाना पढ़ाई के साथ-साथ सपनों को लेकर भी गंभीर थी, लेकिन उसे बाहर का खाना खाने की आदत बेहद पसंद थी.

फास्ट फूड की आदत बनी खतरा

परिजनों के अनुसार, अहाना को लंबे समय से फास्ट फूड खाने की लत थी. घर में बार-बार समझाने और मना करने के बावजूद वह अक्सर चाऊमीन, मैगी, पिज्जा और बर्गर खा लेती थी. शुरुआत में किसी को अंदाजा नहीं था कि यह आदत उसकी सेहत पर इतना गंभीर असर डालेगी. सितंबर महीने में उसकी तबीयत अचानक बिगड़ने लगी और पेट में तेज दर्द रहने लगा, जिसे पहले सामान्य समझा गया.

जांच में सामने आई गंभीर स्थिति

दर्द बढ़ने पर 30 नवंबर को परिजन उसे मुरादाबाद के एक निजी अस्पताल लेकर गए. जांच के बाद डॉक्टरों ने जो बताया, वह चौंकाने वाला था. अहाना की आंतों में कई जगह छेद हो चुके थे. डॉक्टरों ने स्पष्ट किया कि लंबे समय तक फास्ट फूड खाने से उसकी आंतें बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई थीं. हालत गंभीर होने के कारण तुरंत ऑपरेशन किया गया.

ऑपरेशन के बाद भी नहीं संभली हालत

ऑपरेशन सफल रहा और करीब दस दिन बाद अहाना को अस्पताल से छुट्टी मिल गई. परिवार को उम्मीद थी कि अब वह धीरे-धीरे ठीक हो जाएगी. लेकिन घर लौटने के बाद भी उसकी हालत में कोई खास सुधार नहीं हुआ. वह कमजोर होती चली गई और रोजमर्रा के कामों में भी उसे परेशानी होने लगी.

एम्स में इलाज के दौरान मौत

चार दिन पहले अचानक उसकी तबीयत फिर बिगड़ गई, जिसके बाद परिजन उसे दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) लेकर पहुंचे. वहां इलाज के दौरान कुछ समय के लिए उसकी हालत में सुधार भी दिखा. वह चलने-फिरने लगी, जिससे परिवार को राहत मिली. लेकिन रविवार रात अचानक उसकी तबीयत बहुत ज्यादा बिगड़ गई और हार्ट फेल होने से उसकी मौत हो गई.

परिवार में मातम

अहाना के मामा गुलजार खान ने बताया कि डॉक्टरों ने साफ कहा था कि फास्ट फूड ही उसकी आंतों के खराब होने की मुख्य वजह बना. होनहार बेटी की असमय मौत से परिवार टूट चुका है. माता-पिता सदमे में हैं और पूरे इलाके में शोक की लहर है. अहाना की कहानी आज के युवाओं और अभिभावकों के लिए एक गंभीर चेतावनी है कि स्वाद की आदत कब जिंदगी छीन ले, इसका अंदाजा भी नहीं होता.

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23 December 2025, 06:12 PM IST

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