26 अप्रैल को SC सुनाएगा बड़ा फैसला, क्या 4 जून को होगा ईवीएम वोटों से वीवीपैट पर्चियों का मिलान?

देश मे लोकसभा चुनाव हो रहे है. इस बीच दूसरे चरण में ईवीएम यानी इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन से डाले गए वोटो का का सुप्रीम कोर्ट वोटर-वेरिफिएबल पेपर ऑडिट ट्रेल (VVPAT) पर्चियों से मिलान करने को लेकर फैसला आने वाले है. ऐसे में ये दिन काफी खास माना जा रहा है. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से ये तय होगा कि 4 जून को जब लोकसभा चुनाव की गिनती होगी तो वीवीपैट पर्चियां ईवीएम के वोटों से मौच होगा या नहीं.

Dimple Kumari
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Supreme Court News: देश मे लोकसभा चुनाव हो रहे है. इस बीच दूसरे चरण में ईवीएम यानी इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन से डाले गए वोटो का का सुप्रीम कोर्ट वोटर-वेरिफिएबल पेपर ऑडिट ट्रेल (VVPAT) पर्चियों से मिलान करने को लेकर फैसला सुरक्षित कर लिया है. कल इस बात पर फैसला आने वाला है. ऐसे में ये दिन काफी खास माना जा रहा है. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से ये तय होगा कि 4 जून को जब लोकसभा चुनाव की गिनती होगी तो वीवीपैट पर्चियां ईवीएम के वोटों से मौच होगा या नहीं. बता दें कि कई संगठनों ने यह याचिका दायर कर ईवीएम और वीवीपैट पर्चियों के मिलान की मांग की थी.

कल आएगा फैसला

बता दें कि इस मामले सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस ने संजीव खन्ना और जस्टिस दीपांकर दत्ता की पीठ शुक्रवार को फैसला सुनाएगी. इससे पहले 24 अप्रैल को इस बेंच ने सभी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया था. कोर्ट ने चुनाव आयोग के समक्ष उठाए गए सवालों के जवाब पर विचार करने के बाद अपना फैसला सुरक्षित रख लिया. याचिकाकर्ताओं ने मांग की है कि ईवीएम में मतदाताओं का विश्वास बनाए रखने के लिए वीवीपैट पर्चियों की 100 प्रतिशत गिनती की जानी चाहिए. चुनाव आयोग ने जहां ईवीएम को पूरी तरह सुरक्षित बताया और कहा कि वीवीपैट पर्चियां बहुत छोटी और पतली होती हैं, वहीं कोर्ट ने सुनवाई के दौरान यह भी टिप्पणी की कि, हर बात पर अविश्वास नहीं किया जा सकता.

ईवीएम की कार्यप्रणाली पर पूछे गए सवाल

ईवीएम की कार्यप्रणाली के संबंध में न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता की पीठ ने चुनाव आयोग के अधिकारी से पांच सवाल पूछे जिसमें यह भी शामिल था कि क्या ईवीएम में स्थापित 'माइक्रो कंट्रोलर' को दोबारा प्रोग्राम किया जा सकता है या नहीं. अदालत में पेश हुए वरिष्ठ उप चुनाव आयुक्त नीतीश कुमार व्यास ने पहले ईवीएम की कार्यप्रणाली के बारे में अदालत को बताया था. पीठ ने उन्हें दोपहर दो बजे सवालों का जवाब देने के लिए बुलाया.सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट की पीठ ने कहा कि उसे कुछ पहलुओं पर स्पष्टीकरण की जरूरत है क्योंकि ईवीएम के बारे में 'अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों' (एफएक्यू) पर आयोग द्वारा दिए गए जवाबों को लेकर कुछ भ्रम है. पीठ ने कहा, ''हमें कुछ संदेह हैं और स्पष्टीकरण की आवश्यकता है और इसलिए हमने मामले को निर्देशों के लिए सूचीबद्ध किया है.'' उन्होंने कहा, हम अपने निष्कर्षों में तथ्यात्मक रूप से गलत नहीं होना चाहते, बल्कि पूरी तरह आश्वस्त होना चाहते हैं.

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25 April 2024, 11:19 PM IST

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