रामबन में बादल फटने से तबाही, तीन की मौत, 100 से अधिक लोगों को किया गया रेस्क्यू
जम्मू-कश्मीर के रामबन जिले में लगातार हो रही मूसलधार बारिश और बादल फटने की वजह से कई घर पूरी तरह से तबाह हो गए. इस प्राकृतिक आपदा में दो मासूम बच्चों सहित तीन लोगों की दर्दनाक मौत हो गई. वहीं, राहत और बचाव अभियान तेज़ी से जारी है. सेना और स्थानीय पुलिस की मदद से अब तक 100 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है.

जम्मू-कश्मीर के रामबन जिले में मूसलधार बारिश और बादल फटने की वजह से बड़ी त्रासदी सामने आई है. बगना गांव में हुए इस हादसे में तीन लोगों की जान चली गई, जिनमें दो मासूम बच्चे भी शामिल हैं. लगातार बारिश के चलते एक मकान ढह गया, जिससे यह दुखद घटना हुई. प्रशासन और भारतीय सेना ने तत्काल राहत कार्य शुरू किया और अब तक 100 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है.
दो नाबालिग भाइयों की मौत
रामबन के सरी बगना गांव में बादल फटने की इस घटना में दो नाबालिग भाई अकीब अहमद और मोहम्मद साकिब की मौत हो गई. इस प्राकृतिक आपदा ने पूरे गांव को हिला कर रख दिया है. वहीं धरम कुंड क्षेत्र में अचानक आई बाढ़ ने करीब 40 घरों को प्रभावित किया, जिनमें से 10 मकान पूरी तरह से ढह गए जबकि बाकी को आंशिक नुकसान हुआ है.
उमर अब्दुल्ला ने गहरा दुख जताया
भारी बारिश और भूस्खलन के कारण जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग भी बाधित हुआ है. रामबन के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कुलबीर सिंह ने जानकारी दी कि पांच से अधिक स्थानों पर भूस्खलन से ट्रैफिक ठप है, जिसे मौसम में सुधार आने पर साफ किया जाएगा. घटना पर जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने गहरा दुख जताया है. उपराज्यपाल ने बताया कि राहत और बचाव कार्य में एसडीआरएफ, जिला प्रशासन और अन्य टीमें सक्रिय रूप से लगी हुई हैं और प्रभावित परिवारों को हर संभव सहायता दी जा रही है.
पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने भी रामबन और बनिहाल क्षेत्र में हुए नुकसान पर चिंता जाहिर की है. उन्होंने कहा कि सरकार के मंत्री और जनप्रतिनिधि प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर रहे हैं और पीड़ितों को हरसंभव मदद पहुंचाई जाएगी.


