ड्रोन की गड़गड़ाहट और धमाकों के बीच कांपे छात्र, बोले- “बेड के नीचे छुपे थे हम”
13 जून को जब इजराइल ने तेहरान पर पहला हमला किया, उस वक्त तेहरान मेडिकल यूनिवर्सिटी में 140 भारतीय छात्र मौजूद थे. छात्रों ने बताया कि आसमान ड्रोन से भर गया था, हर मिनट हालात बिगड़ते जा रहे थे. धमाकों और डर के बीच उन्होंने खौफनाक रात बिताई.

ईरान और इजराइल के बीच भड़की जंग अब आम नागरिकों तक पहुंच गई है. मिसाइलों और ड्रोन के बीच एक तरफ इजराइल ने तेहरान समेत ईरान के कई इलाकों में हमला बोला, तो दूसरी ओर ईरान भी पलटवार में पीछे नहीं रहा. लेकिन इस सबके बीच सबसे ज्यादा डरे हुए हैं वहां पढ़ाई कर रहे भारतीय छात्र. खासकर राजधानी तेहरान के मेडिकल कॉलेज में पढ़ रहे 140 भारतीय स्टूडेंट्स जो उस रात के डरावने लम्हों को अब तक नहीं भूल पाए हैं.
13 जून की रात, जब इजराइल ने ऑपरेशन 'राइजिंग लायन' के तहत ईरान पर पहला हमला बोला, तब छात्रों के मुताबिक उस समय सब कुछ अचानक बदल गया. एक छात्र ने बताया कि शुक्रवार तड़के करीब 3:20 बजे जोरदार धमाके की आवाज सुनाई दी. उन्होंने खिड़की से देखा तो आसमान में काले धुएं के गुबार थे और नीचे और भी धमाके हो रहे थे. छात्रों ने डर के मारे अपने कमरों में शरण ली और कुछ तो बेड के नीचे छिप गए.
आसमान में मंडरा रहे थे ड्रोन
छात्रों के मुताबिक लगभग तीन घंटे तक लगातार ड्रोन और फाइटर जेट्स की आवाजें आती रहीं. उन्हें लगने लगा कि शायद ये उनकी आखिरी रात है. पूरा इलाका ब्लैकआउट में डूबा था. डर का आलम यह था कि कोई भी छात्र बाहर निकलने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा था.
यूनिवर्सिटी प्रशासन ने बढ़ाया हौसला
इस मुश्किल वक्त में यूनिवर्सिटी के वाइस डीन और बाद में डीन खुद छात्रों से मिलने पहुंचे और उन्हें भरोसा दिलाया कि वे पूरी मदद करेंगे. छात्रों ने बताया कि प्रशासन ने उन्हें शांत करने की कोशिश की, लेकिन फिर भी डर खत्म नहीं हुआ.
भारत सरकार से की सुरक्षित वापसी की अपील
छात्रों ने भारत सरकार से गुहार लगाई है कि उन्हें जल्द से जल्द वापस लाया जाए. एक छात्र ने कहा, “हमें भारत की ताकत पर भरोसा है, लेकिन हम अब यहां एक रात और नहीं रह सकते.” उन्होंने बताया कि वे भारतीय दूतावास के संपर्क में हैं, जिसने मदद के लिए हेल्पलाइन नंबर और टेलीग्राम लिंक उपलब्ध कराया है.
बढ़ते जा रहे हैं तनावपूर्ण हालात
13 जून को इजराइल ने ईरान के सैन्य और परमाणु ठिकानों पर हमला किया. इसके जवाब में ईरान ने भी इजराइल पर हमले किए. दोनों देशों के बीच हालात हर घंटे और अधिक भयावह होते जा रहे हैं. ऐसे में ईरान में रह रहे 10,000 से ज्यादा भारतीयों की सुरक्षा चिंता का विषय बन गई है.


