महंगे फोन पर तुरंत मंजूरी, महिलाओं को ₹2500 के लिए कमेटी: AAP का भाजपा पर हमला
दिल्ली में भाजपा सरकार द्वारा मुख्यमंत्री और मंत्रियों के लिए महंगे मोबाइल फोन खरीदने के फैसले को लेकर आम आदमी पार्टी ने कड़ा विरोध जताया है.

दिल्ली में भाजपा सरकार द्वारा मुख्यमंत्री और मंत्रियों के लिए महंगे मोबाइल फोन खरीदने के फैसले को लेकर आम आदमी पार्टी ने कड़ा विरोध जताया है. पार्टी के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज ने कहा कि जब बात अपने फायदे की आती है, तो भाजपा सरकार फौरन फैसला लेती है, लेकिन जनता के हितों के लिए सिर्फ कमेटियां बनती हैं.
सौरभ का कटाक्ष
सौरभ ने कहा कि भाजपा ने मंत्रियों के लिए 1.25 से 1.5 लाख रुपये तक के मोबाइल फोन और अनलिमिटेड बिल की सुविधा को बिना देरी मंजूरी दे दी. लेकिन जब महिलाओं को हर महीने 2500 रुपये देने की बात आई, तो तुरंत एक कमेटी बना दी गई, जो आज तक सिर्फ मीटिंग पर मीटिंग कर रही है. उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि यदि फोन खरीदने के लिए भी कमेटी बनती, तो यह तय किया जाता कि कौन-सा फोन लेना है, कितना बिल आएगा और क्या सरकार को देना चाहिए.
उन्होंने भाजपा पर यह आरोप भी लगाया कि सरकार निजी स्कूलों में बढ़ी हुई फीस, जलभराव, ट्रैफिक जाम, गरीबों के मकान टूटने और विधवाओं की पेंशन कटने जैसी गंभीर समस्याओं पर आंखें मूंदे बैठी है. जनता इन सब मुद्दों को देख रही है और यह भी जानती है कि भाजपा का असली चेहरा क्या है.
वादों को लेकर भाजपा पर वार
एक्स (पूर्व ट्विटर) पर सौरभ भारद्वाज ने तंज करते हुए लिखा कि भाजपा के मुख्यमंत्री और मंत्रियों को बधाई, उन्हें महंगे मोबाइल फोन और अनलिमिटेड बिल की योजना मिल गई है. उन्होंने लिखा कि अगर महिलाओं को वादा किए गए 2500 रुपये नहीं मिले, तो क्या फर्क पड़ता है? अगर निजी स्कूलों ने फीस बढ़ा दी, दिल्ली जलभराव से परेशान रही या ट्रैफिक जाम में फंसी रही, तो कोई बात नहीं. लेकिन जब बात अपने फोन की आई तो किसी कमेटी की जरूरत नहीं पड़ी.
सौरभ ने दोहराया कि भाजपा सिर्फ जनता के मुद्दों पर टालमटोल करती है. विकास हो रहा है, लेकिन सिर्फ नेताओं का. आम जनता की जरूरतों के लिए कमेटी बनाई जाती है और उसका काम सिर्फ चर्चा करना होता है, समाधान नहीं. उन्होंने अंत में कहा कि कम से कम फोन खरीदने पर भी कमेटी बना लेते, वर्षों चर्चा चलती कि कौन-सा फोन सस्ता और उपयोगी होगा.


