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यह कानून भ्रष्टाचार के खिलाफ नहीं, बल्कि खरीद फरोख्त करने और विपक्षी दलों को खत्म करने के लिए... संजय सिंह का बड़ा आरोप

आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने केंद्र सरकार के भ्रष्टाचार विरोधी बिल को विपक्षी नेताओं को निशाना बनाने की साजिश बताया. उन्होंने कहा कि यह कानून लोकतंत्र खत्म करने और सरकारें गिराने के लिए लाया गया है, न कि भ्रष्टाचार के खिलाफ. संजय सिंह ने बीजेपी और भ्रष्ट नेताओं के बीच सांठगांठ का आरोप लगाया और जेपीसी का बहिष्कार करने की घोषणा की.

Utsav Singh
Edited By: Utsav Singh

Sanjay Singh Allegations on BJP : आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने केंद्र सरकार पर एक बार फिर तीखा हमला बोला है. उन्होंने भ्रष्टाचार के नाम पर लाए गए नए बिल को लेकर केंद्र सरकार की मंशा पर गंभीर सवाल उठाए. संजय सिंह का कहना है कि यह कानून भ्रष्टाचार से लड़ने के लिए नहीं, बल्कि विपक्षी नेताओं को झूठे मामलों में फंसाकर जेल भेजने, सरकारें गिराने, और राजनीतिक पार्टियों को खत्म करने के लिए लाया जा रहा है.

बिल को बताया लोकतंत्र विरोधी

संजय सिंह ने कहा कि यह बिल पूरी तरह से गैर-संवैधानिक और गैर-लोकतांत्रिक है. उन्होंने दावा किया कि इसका असली उद्देश्य ईमानदार नेताओं को झूठे मुकदमों में फंसाकर उनसे इस्तीफा लेना, विधायकों की खरीद-फरोख्त, और राज्य सरकारों को अस्थिर करना है. उन्होंने चेतावनी दी कि अगर यह बिल पास हुआ, तो देश की लोकतांत्रिक व्यवस्था खतरे में पड़ जाएगी.

जेपीसी का किया बहिष्कार
संजय सिंह ने यह भी साफ कर दिया कि आम आदमी पार्टी और पार्टी प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने यह निर्णय लिया है कि वे केंद्र सरकार द्वारा बनाई गई संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) का हिस्सा नहीं बनेंगे. उन्होंने इस समिति को भी एक दिखावा बताया, जो सिर्फ विपक्ष की आवाज़ दबाने के लिए बनाई गई है.

भाजपा और भ्रष्टाचारियों की तुलना फिल्मी...
संजय सिंह ने तीखा तंज कसते हुए कहा कि भाजपा और भ्रष्टाचारियों का रिश्ता वैसा ही है जैसे हीर-रांझा, लैला-मजनूं और रोमियो-जूलियट का होता है. उन्होंने कहा कि जिन नेताओं पर गंभीर भ्रष्टाचार के आरोप लगे हैं, वे आज भाजपा में शामिल हैं – जैसे अजीत पवार, नारायण राणे, छगन भुजबल, हसन मुश्रीफ, मुकुल रॉय, शुभेंदु अधिकारी, और हिमंता बिस्वा शर्मा. उन्होंने पूछा कि अगर ये भ्रष्टाचारी नहीं हैं, तो फिर भ्रष्टाचार किसे कहते हैं?

सरकारी संपत्ति को अडानी को सौंप रहे PM मोदी 
संजय सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सीधा आरोप लगाया कि वह देश की हजारों करोड़ की सरकारी संपत्ति अपने करीबी कारोबारी अडानी को सौंप रहे हैं. उन्होंने कहा कि जब प्रधानमंत्री खुद पूंजीपतियों को फायदा पहुंचा रहे हैं, तो ऐसे में भ्रष्टाचार विरोधी बिल पर उनकी नियत पर कैसे विश्वास किया जा सकता है?

कंपनी से चंदा और नैतिकता पर सवाल
उन्होंने भाजपा द्वारा कथित तौर पर एक गाय काटने वाली कंपनी से चंदा लेने की बात को भी उठाया और कहा कि जो पार्टी इस तरह के स्रोतों से पैसे लेती है, वह नैतिकता की बातें कैसे कर सकती है? संजय सिंह ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X  पर भी लिखा,
"भ्रष्टाचारियों के सरदार, भ्रष्टाचार के खिलाफ बिल लाएंगे? यह बिल फर्जी केस बनाकर नेताओं को जेल में डालने और सरकारें गिराने के लिए लाया गया है. इसलिए आम आदमी पार्टी और अरविंद केजरीवाल ने जेपीसी में शामिल न होने का निर्णय लिया है."

यह स्पष्ट है कि आम आदमी पार्टी इस बिल को लोकतंत्र के खिलाफ मानती है और इसके विरोध में खुलकर सामने आ गई है. पार्टी का मानना है कि यह बिल देश की राजनीति को एक खतरनाक दिशा में ले जा सकता है.

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24 August 2025, 08:00 PM IST

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