TMC protest in Delhi: टीएमसी के विरोध प्रदर्शन पर अनुराग ठाकुर ने किया पलटवार, कही ये बात

TMC protest in Delhi: टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद अभिषेक बनर्जी ने आज दिल्ली के राजघाट पर प्रदर्शन किया. इस विरोध प्रदर्शन पर  केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने अब पलटवार किया है

Sagar Dwivedi
Sagar Dwivedi

TMC protest in Delhi: टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद अभिषेक बनर्जी ने आज दिल्ली के राजघाट पर प्रदर्शन किया. इस विरोध प्रदर्शन पर  केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने अब पलटवार किया है. इस दौरान उन्होंने कहा कि, "उन्होंने पुरानी झीलों और सड़कों को नया दिखाया, जो पहले से ही बनी हुई थीं. ऐसे कई अवैध काम दिखाए गए.

केंद्र ने राज्य से उचित कार्रवाई करने को कहा कार्रवाई करें और जानकारी प्रदान करें. हमने मार्च 2019 में एक जांच रिपोर्ट दी. हमने एक व्यापक कार्रवाई रिपोर्ट (एटीआर) मांगी, लेकिन उन्होंने कुछ नहीं किया. उन्होंने उन गरीबों का पैसा हड़प लिया जो अपने परिवार के लिए काम करते थे दैनिक आधार पर. उन्होंने विभिन्न घोटालों में पैसा ले लिया, उन्होंने मनरेगा को भी नहीं छोड़ा. 

अनुराग ठाकुर ने TMC पर बोला हमला

आगे उन्होंने कहा कि, उनके इस विरोध प्रदर्शन से पता चलता है कि, इससे पता चलता है कि केंद्र सरकार ने पश्चिम बंगाल के विकास के लिए कोई कमी नहीं रखी...लेकिन ऐसा क्या हुआ कि ममता बनर्जी को अपने भ्रष्ट सांसदों और नेताओं को भेजना पड़ा. पश्चिम बंगाल में भ्रष्टाचार पर कोई कार्रवाई नहीं हुई लेकिन उन्हें लीपापोती के लिए यहां भेजा गया है.

मैं इस बारे में विस्तार से बात करना चाहता हूं. 2019 में एक केंद्रीय टीम ने जांच की थी. टीम के अवलोकन से पता चला कि भारी भ्रष्टाचार हुआ था छोटे-छोटे हिस्सों में बांट दिया. फिर मौजूदा कामों को नए कामों के तौर पर पेश किया गया. उन्होंने महात्मा गांधीजी के नाम पर बनी योजना में भी घोटाला किया.

अनुराग ठाकुर ने कहा कि, "मनरेगा को यूपीए के शासनकाल में 14,985 करोड़ रुपये मिले, जबकि एनडीए की सरकार के दौरान 2021 में 54,150 करोड़ रुपये मिले. प्रधानमंत्री आवास योजना को यूपीए के समय 4,466 करोड़ रुपये मिले और एनडीए के दौरान 30,000 करोड़ रुपये मिले. एनआरएलएम को यूपीए के समय 626 करोड़ रुपये मिले थे और आज 74,034 करोड़ रुपये मिले."

आगे उन्होंने कहा कि, "वित्त आयोग की राशि​ की बात करें तो यूपीए के दौरान 3,270 करोड़ रुपये मिले और एनडीए के दौरान 25,000 करोड़ रुपये मिले. आंकड़ों को देखें तो ये दिखाता है कि केंद्र सरकार की तरफ से पश्चिम बंगाल के विकास में कोई कमी नहीं रखी गई है तो ऐसा क्या हुआ कि पश्चिम बंगाल में चल रहे भ्रष्टाचार पर लीपा-पोती करने के लिए ममता बनर्जी को अपने कुछ भ्रष्ट सांसद और नेताओं को दिल्ली भेजना पड़ा?"
 

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02 October 2023, 08:42 PM IST

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