तुरंत माफी मांगें...वोट चोरी' रैली में पीएम मोदी विरोधी नारों को लेकर संसद में हंगामा, किरन रिरिजू ने कांग्रेस की माफी की मांग
कांग्रेस की ‘वोट चोरी’ रैली में प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ नारे लगाने के आरोप पर संसद में हंगामा हुआ. किरेन रिजिजू और जेपी नड्डा ने कांग्रेस से माफी की मांग की, जिसके चलते लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी.

नई दिल्लीः संसद में सोमवार को उस वक्त जोरदार हंगामा देखने को मिला, जब संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कांग्रेस नेतृत्व से सार्वजनिक माफी की मांग की. मामला रविवार को दिल्ली में आयोजित कांग्रेस की बड़ी ‘वोट चोरी’ रैली से जुड़ा है, जहां कुछ कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ आपत्तिजनक नारे लगाए जाने का आरोप लगा है. इस मुद्दे पर लोकसभा और राज्यसभा दोनों सदनों में कार्यवाही बाधित हुई और अंततः सदन स्थगित करना पड़ा.
लोकसभा में किरेन रिजिजू का तीखा हमला
लोकसभा में बोलते हुए किरेन रिजिजू ने कहा कि कांग्रेस की रैली में राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खर्गे और प्रियंका गांधी वाड्रा जैसे शीर्ष नेताओं की मौजूदगी में प्रधानमंत्री के खिलाफ बेहद आपत्तिजनक नारे लगाए गए, जो लोकतांत्रिक मर्यादाओं के खिलाफ हैं. उन्होंने इसे बेहद शर्मनाक बताते हुए कहा कि संसद में बैठे निर्वाचित प्रतिनिधियों से ऐसी भाषा की उम्मीद नहीं की जा सकती.
रिजिजू ने उदाहरण देते हुए कहा कि 2014 में जब भाजपा के एक सांसद ने विपक्ष के खिलाफ अनुचित टिप्पणी की थी, तब खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनसे तुरंत माफी मंगवाई थी. उन्होंने कहा कि हम दुश्मन नहीं हैं, हम सिर्फ राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी हैं. लेकिन प्रधानमंत्री के खिलाफ इस तरह की भाषा स्वीकार्य नहीं हो सकती.
प्रधानमंत्री के सम्मान का सवाल
केंद्रीय मंत्री ने जोर देकर कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सिर्फ एक राजनीतिक दल के नेता नहीं हैं, बल्कि वे 140 करोड़ भारतीयों का प्रतिनिधित्व करते हैं. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का अपमान देश का अपमान है और कांग्रेस नेतृत्व को इस पर बिना देर किए माफी मांगनी चाहिए. इस बयान के बाद लोकसभा में शोर-शराबा बढ़ गया, जिसके चलते स्पीकर ओम बिरला को सदन की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी.
राज्यसभा में भी हंगामा
इसी मुद्दे पर राज्यसभा में भी जबरदस्त हंगामा हुआ. भाजपा अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा ने सरकार की ओर से कांग्रेस पर हमला बोला. उन्होंने कहा कि कांग्रेस की रैली में लगाए गए नारे पार्टी की सोच और मानसिकता को दर्शाते हैं. नड्डा ने कहा कि प्रधानमंत्री के खिलाफ इस तरह के नारे निंदनीय हैं. सोनिया गांधी को देश से माफी मांगनी चाहिए. उनके इस बयान के बाद उच्च सदन में भी स्थिति बिगड़ गई और राज्यसभा को स्थगित करना पड़ा.
वायरल वीडियो ने बढ़ाया विवाद
इस पूरे विवाद की जड़ एक वायरल वीडियो बताया जा रहा है, जिसमें कांग्रेस की ‘वोट चोरी’ रैली के दौरान कुछ महिला कार्यकर्ता प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ नारे लगाती नजर आ रही हैं. वीडियो में “मोदी तेरी कब्र खोदेगी” जैसे नारे सुनाई दे रहे हैं, जिसने सियासी तूफान खड़ा कर दिया है.
नारा लगाने वाली कार्यकर्ता का बयान
वीडियो में दिख रही एक कार्यकर्ता, मंजू लता मीना ने माफी मांगने से साफ इनकार कर दिया है. उन्होंने नारे का बचाव करते हुए कहा कि यह उनका राजनीतिक नारा है और प्रधानमंत्री को अपने कार्यकाल में किए गए कामों के लिए देश से माफी मांगनी चाहिए. उन्होंने कहा कि उन्हें अपने बयान पर कोई पछतावा नहीं है.
सियासत बनाम संसदीय मर्यादा
यह पूरा विवाद एक बार फिर संसद की गरिमा, राजनीतिक विरोध की भाषा और लोकतांत्रिक मर्यादाओं पर बहस को तेज कर रहा है. जहां भाजपा इसे प्रधानमंत्री और देश के सम्मान से जोड़ रही है, वहीं कांग्रेस की ओर से अब तक शीर्ष नेतृत्व की कोई औपचारिक माफी सामने नहीं आई है. आने वाले दिनों में यह मुद्दा संसद के साथ-साथ राजनीतिक गलियारों में भी चर्चा का केंद्र बना रहने की संभावना है.


