केरल: प्रेम... प्रेमी...साजिशों का जाल ...जहर... और मौत की सजा की अनोखी कहानी
प्रेम बहुत ही पवित्र होता है पर जब उसमें विश्वास घात शामिल हो जाए तो वह अभिशाप बन जाता है. कुछ ऐसी ही एक घटना केरल से सामने आई है. यहां एक प्रेमी को उसकी ही प्रेमिका ने जहर देकर मार डाला. पर अपराध करने वाली उस महिला को अब उसके कर्मों की फल मिल गया. और अदालत ने उसे मौत की सजा दे दी है.

क्राइम न्यूज. हमारे धार्मिक ग्रंर्थों में प्रेम को बहुत ही ऊंचे स्थान पर रखा गया है. पर आज हम आपको एक ऐसी स्टोरी बताने वाले हैं यहां प्रेम में धोखा, जहर और मौत शामिल है. जी हां हम बात कर रहे हैं केरल की ग्रीष्मा नामक एक महिला की. जिसने इंसानियत की सारी हदें पार करते हुए अपने ही प्रेमी को जहर देकर मार डाला. प्रेम और विश्वास में विश्वासघात का ऐसा खेला रच गया, जिसने निर्दोष प्रेमी की जान ले ली.
यहां से शुरू होती है प्रेमिका की साजिश
2022 में केरल की ग्रीष्मा ने अपने प्रेमी के विश्वास का घातक तरीके से दुरुपयोग किया. उसने उसे एक आयुर्वेदिक टानिक का झांसा दे कर उसे पैराक्वाट नामक खतरनाक जहर पिला दिया. इस घटना ने रिश्तों में छल-कपट और जहर का भयावह रूप उजागर किया. पैराक्वाट जैसे खतरनाक रसायनों का उपयोग एक गंभीर समस्या बन गया है. इससे समाज में चेतना फैलाने की जरूरत है. यह मामला अपराध, प्रेम और धोखे का चौंकाने वाला उदाहरण है.
सजा में नरमी की मांग की गई
केरल में सोमवार को एक 24 वर्षीय महिला को अपने प्रेमी की हत्या के लिए मौत की सजा सुनाई गई है. यह घटना करीब दो साल पहले हुई थी. ग्रीष्मा नाम की महिला ने अपने 23 वर्षीय प्रेमी शेरोन राज को जहर देकर मार डाला था, ताकि वह अपने रोमांटिक रिश्ते से बाहर निकल सके.
पिछले हफ़्ते ग्रीष्मा और उसके चाचा को हत्या के लिए दोषी ठहराने वाली स्थानीय अदालत ने कहा कि अपराध की गंभीरता के आधार पर आरोपी की उम्र पर विचार करने की कोई ज़रूरत नहीं है. आरोपी ने अपनी शैक्षणिक उपलब्धियों, पिछले आपराधिक इतिहास की कमी और इस तथ्य का हवाला देते हुए सज़ा में नरमी की मांग की थी कि वह अपने माता-पिता की इकलौती बेटी है.
यह एक अनुकरणीय फैसला है
अदालत ने कहा कि अभियोजन पक्ष ने अपराध साबित करने के लिए परिस्थितिजन्य, डिजिटल और वैज्ञानिक साक्ष्यों पर भरोसा किया. आज के फैसले के बाद, पीड़िता के वकील ने कहा कि उन्हें "विश्वास" है कि अदालत सबूतों को स्वीकार कर लेगी. विशेष लोक अभियोजक वी.एस. विनीत कुमार ने स्थानीय अदालत के बाहर मीडिया को बताया कि जब वह अदालत के समक्ष दलील दे रहा था, तो उसे पूरा विश्वास था कि अदालत मेरे साक्ष्यों को स्वीकार कर लेगी. उसने दलील दी थी कि यह दुर्लभतम श्रेणी का मामला है और इसमें मृत्युदंड दिया जाना चाहिए...यह एक अनुकरणीय फैसला है.
आयुर्वेदिक टॉनिक देकर जहर दे दिया
2022 में ग्रीष्मा ने अपने प्रेमी को पैराक्वाट नामक एक जड़ी-बूटी से युक्त आयुर्वेदिक टॉनिक देकर जहर दे दिया. 11 दिन बाद कई अंगों के फेल होने से उसकी मौत हो गई. उसने हत्या की साजिश इसलिए रची क्योंकि राज ने तमिलनाडु के एक सैन्यकर्मी से उसकी शादी तय होने के बाद उनके रिश्ते को खत्म करने से इनकार कर दिया था.
कड़वा स्वाद होने के कारण नहीं पिया जूस
अधिकारियों के अनुसार, ग्रीष्मा ने पहले भी फलों के रस में पैरासिटामोल की गोलियां मिलाकर राज को जहर देने की कोशिश की थी. लेकिन वह ऐसा करने में विफल रही थी, क्योंकि उसने फलों के रस का कड़वा स्वाद होने के कारण इसे पीने से मना कर दिया था। तिरुवनंतपुरम जिले के परसाला के मूल निवासी राज बीएससी रेडियोलॉजी के छात्र थे.
सबूतों के अभाव में बरी कर दिया गया
ग्रीष्मा को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत दोषी पाया गया, जिसमें हत्या भी शामिल है. उसके चाचा निर्मलकुमारन नायर को सबूत नष्ट करने का दोषी पाया गया। आरोपी की मां, जिसे भी हिरासत में लिया गया था, को सबूतों के अभाव में बरी कर दिया गया.