10 साल में शक्तिशाली जेट इंजन, सुदर्शन चक्र और...रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बताया कैसा होगा भारतीय हथियारों का भविष्य?
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि आधुनिक युद्ध में ड्रोन की भूमिका निर्णायक हो गई है. रूस-यूक्रेन युद्ध से सबक लेते हुए उन्होंने ड्रोन को भारत की युद्ध नीति में शामिल करने की जरूरत बताई. नोएडा में नई रक्षा सुविधा का उद्घाटन करते हुए उन्होंने कहा कि भारत अब ड्रोन का डिजाइन, विकास और निर्माण घरेलू स्तर पर कर रहा है.

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शनिवार को कहा कि आधुनिक युद्ध रणनीति में ड्रोन अब निर्णायक भूमिका निभाने लगे हैं. उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत की युद्ध नीति में भी ड्रोन को शामिल करना बेहद आवश्यक हो गया है. रक्षा मंत्री के अनुसार, जब हम फाइटर जेट की बात करते हैं तो आमतौर पर हमारे दिमाग में तेजस, राफेल और अन्य लड़ाकू विमानों की छवि आती है. लेकिन बदलते समय में ड्रोन इस क्षेत्र की एक नई शक्ति बनकर उभरे हैं.
रूस-यूक्रेन युद्ध से सबक
राजनाथ सिंह ने उदाहरण देते हुए कहा कि रूस-यूक्रेन युद्ध में ड्रोन ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. दोनों देशों ने न सिर्फ निगरानी बल्कि हमले और सामरिक रणनीति में भी ड्रोन का व्यापक उपयोग किया है. उन्होंने कहा कि यह स्थिति स्पष्ट करती है कि भविष्य के युद्धों में ड्रोन का महत्व और भी बढ़ेगा.
युद्ध नीति में जरूरी भूमिका
रक्षा मंत्री ने कहा कि ड्रोन का महत्व केवल सीमित क्षेत्रों तक ही नहीं है. ये उन इलाकों में भी कारगर साबित हो रहे हैं जहां बड़े उपकरण या विमान नहीं पहुंच सकते. ऐसे हालात में ड्रोन तेज और सटीक विकल्प के रूप में सामने आए हैं. यही कारण है कि अब इन्हें भारत की युद्ध नीति और रक्षा रणनीति में शामिल करना आवश्यक हो गया है.
आत्मनिर्भर भारत की दिशा में कदम
नोएडा में आयोजित एक कार्यक्रम में रक्षा मंत्री ने राफे एमफाइबर प्राइवेट लिमिटेड की रक्षा उपकरण और इंजन-परीक्षण सुविधा का उद्घाटन किया. उन्होंने इसे आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक मजबूत कदम बताया. राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत पहले ड्रोन आयात करता था, लेकिन अब वह घरेलू स्तर पर इनका डिजाइन, विकास और निर्माण कर रहा है.
ड्रोन का विकास
राजनाथ सिंह ने बताया कि पहले ड्रोन का उपयोग केवल निगरानी और खुफिया जानकारी जुटाने तक सीमित था. धीरे-धीरे कई देशों ने इन्हें युद्ध के लिए विकसित किया और अब यह हथियारों के साथ युद्ध क्षेत्र में तैनात किए जा रहे हैं. जिन देशों ने समय रहते ड्रोन प्रौद्योगिकी में निवेश किया, उन्होंने युद्ध में बढ़त हासिल की. वहीं, जो देश पीछे रहे, वे अब पिछड़ गए हैं.
उद्यमियों की सराहना
रक्षा मंत्री ने कहा कि आज ड्रोन प्रौद्योगिकी भारत में तेजी से विकसित हो रही है. उन्होंने इस क्षेत्र में काम कर रहे भारतीय उद्यमियों और उद्योगपतियों की सराहना की. उनके अनुसार, देश की रक्षा व्यवस्था अब केवल पारंपरिक विमानों तक सीमित नहीं है, बल्कि ड्रोन प्रौद्योगिकी पर भी आधारित है.


