score Card

Aaj Ka Panchang: कृष्ण जन्माष्टमी पर शुभ-अशुभ मुहूर्त, देखें 16 अगस्त का पंचांग

आज 16 अगस्त 2025, शनिवार को देशभर में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी बड़े धूमधाम से मनाई जा रही है. आज भाद्रपद कृष्ण अष्टमी है और पंचांग के अनुसार कई शुभ-अशुभ मुहूर्त हैं. आज का दिन सूर्य दक्षिणायन में है और वर्षा ऋतु का समय चल रहा है.

Shivani Mishra
Edited By: Shivani Mishra

Aaj Ka Panchang: आज शनिवार, 16 अगस्त 2025 को पूरे देश में भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव जन्माष्टमी बड़े धूमधाम से मनाया जा रहा है. भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि पर पड़ने वाला यह पर्व भक्तों के लिए बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है. इस पावन अवसर पर पूजा, भजन-कीर्तन, रात्रि जागरण और झांकी का आयोजन किया जाता है.

पंचांग के अनुसार, इस दिन वृद्धि योग और ध्रुव योग जैसे विशेष संयोग भी बन रहे हैं. साथ ही शुभ मुहूर्त, राहुकाल और भरणी नक्षत्र के प्रभाव को ध्यान में रखते हुए भक्तजन पूजन-अर्चन कर सकते हैं. आइए जानते हैं आज का विस्तृत पंचांग और जन्माष्टमी की पूजा-विधि.

आज का पंचांग 

  • तिथि: भाद्रपद कृष्ण पक्ष अष्टमी, समाप्त – रात 9:34 बजे तक

  • योग: वृद्धि योग – सुबह 7:21 बजे तक, ध्रुव योग – 17 अगस्त प्रातः 4:28 बजे तक

  • करण: बालव – सुबह 10:41 बजे तक, कौलव – रात 9:34 बजे तक

  • वार: शनिवार

सूर्योदय, सूर्यास्त और चंद्रोदय का समय

  • सूर्योदय: प्रातः 5:51 बजे

  • सूर्यास्त: शाम 6:59 बजे

  • चंद्रोदय: रात 11:32 बजे

  • चंद्रास्त: दोपहर 1:02 बजे

  • सूर्य राशि: कर्क

  • चंद्र राशि: मेष

शुभ और अशुभ समय

  • अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 11:59 से 12:51 बजे तक

  • अमृत काल: रात 2:23 बजे से 3:53 बजे तक (17 अगस्त)

  • राहुकाल: सुबह 9:08 से 10:47 बजे तक

  • गुलिक काल: सुबह 5:51 से 7:29 बजे तक

  • यमगंड काल: दोपहर 2:04 से 3:42 बजे तक

आज का नक्षत्र- भरणी नक्षत्र

  • समाप्ति: प्रातः 6:06 बजे तक

  • स्वामी ग्रह: शुक्र

  • देवता: यमराज

  • प्रतीक: योनि (प्रजनन शक्ति का प्रतीक)

  • राशि स्वामी: मंगल

  • विशेषताएं: सिद्धांतप्रिय, अनुशासित, गंभीर, जिम्मेदार और परिश्रमी, लेकिन कभी-कभी निराशाजनक एवं नियंत्रित स्वभाव भी.

आज का व्रत और त्योहार

जन्माष्टमी का पर्व भाद्रपद मास की कृष्ण पक्ष अष्टमी को मनाया जाता है. यह दिन भक्तों के लिए अत्यंत आनंददायी और पवित्र माना जाता है. इस दिन भक्तगण व्रत रखते हैं, मंदिरों में श्रीकृष्ण की मूर्तियों का श्रृंगार किया जाता है और रात्रि जागरण के साथ भजन-कीर्तन किए जाते हैं.

  • अष्टमी तिथि प्रारंभ: 15 अगस्त रात 11:49 बजे से

  • अष्टमी तिथि समाप्ति: 16 अगस्त रात 9:34 बजे तक

जन्माष्टमी पूजा विधि

  • घर और पूजा स्थल को साफ करके फूलों व रंगोली से सजाएं.

  • श्रीकृष्ण जी की मूर्ति या चित्र स्थापित करें.

  • ध्यानपूर्वक ॐ नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का जाप करें.

  • भगवान को मिश्री, दूध, फल और अन्य भोग अर्पित करें.

  • मध्यरात्रि को भजन, कीर्तन और आरती करें.

  • व्रत रखें और रात्रि जागरण के दौरान श्रीकृष्ण कथाएं सुनें.

  • पूजा समाप्ति के बाद प्रसाद का वितरण करें.

DISCLAIMER: यह जानकारी धार्मिक मान्यताओं और ज्योतिषीय गणनाओं पर आधारित है. JBT इसकी किसी भी प्रकार से पुष्टि नहीं करता है.

calender
16 August 2025, 08:52 AM IST

ताजा खबरें

ट्रेंडिंग वीडियो

close alt tag