मोकामा में दुलारचंद यादव हत्या कांड पर चुनाव आयोग सख्त, डीजीपी से मांगी रिपोर्ट
बिहार में जन सुराज पार्टी के कार्यकर्ता और बाहुबली दुलारचंद यादव की हत्या के बाद चुनाव आयोग ने मामले पर गंभीर रुख अपनाते हुए राज्य के डीजीपी विनय कुमार से विस्तृत रिपोर्ट तलब की है.

बिहार विधानसभा चुनाव के बीच मोकामा में हुई हिंसा ने राजनीतिक माहौल को गर्मा दिया है. जन सुराज पार्टी के कार्यकर्ता और बाहुबली दुलारचंद यादव की हत्या के बाद चुनाव आयोग ने मामले पर गंभीर रुख अपनाते हुए राज्य के डीजीपी विनय कुमार से विस्तृत रिपोर्ट तलब की है.
दो प्रत्याशियों के समर्थकों के बीच झड़प
यह घटना गुरुवार को चुनाव प्रचार के दौरान हुई थी, जब दो प्रत्याशियों के समर्थकों के बीच झड़प के बाद गोलीबारी हुई और दुलारचंद की मौके पर ही मौत हो गई. जानकारी के अनुसार, मोकामा से जदयू उम्मीदवार और पूर्व विधायक अनंत सिंह सहित पांच लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है.
बताया गया कि जन सुराज पार्टी के प्रत्याशी पीयूष प्रियदर्शी के समर्थन में रोड शो के दौरान यह विवाद उस समय भड़क उठा, जब अनंत सिंह का काफिला उसी रास्ते से गुजर रहा था. दोनों पक्षों में पहले नारेबाजी हुई, फिर देखते-देखते पत्थरबाजी और फायरिंग शुरू हो गई. इसी दौरान दुलारचंद यादव को गोली पैर में लगी, जिससे वे सड़क पर गिर पड़े. चश्मदीदों के अनुसार, उसी वक्त उन्हें वाहन से कुचल दिया गया, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई.
शव यात्रा के दौरान फिर तनाव
घटना के अगले दिन भी मोकामा में हालात तनावपूर्ण रहे. दुलारचंद यादव की शव यात्रा के दौरान राजद प्रत्याशी वीणा देवी (सूरजभान सिंह की पत्नी) की गाड़ी पर पथराव किया गया, जिसमें वाहन क्षतिग्रस्त हो गया. सूरजभान सिंह ने इस हमले के पीछे राजनीतिक साजिश का आरोप लगाया और चुनाव आयोग से तुरंत हस्तक्षेप की मांग की. वहीं, अनंत सिंह ने पलटवार करते हुए सूरजभान गुट पर ही हिंसा भड़काने का आरोप लगाया, जिससे मामला और पेचीदा हो गया है.
विपक्ष ने उठाए प्रशासन पर सवाल
तेजस्वी यादव ने इस घटना पर सरकार और प्रशासन पर निशाना साधते हुए कहा कि मोकामा में कानून का राज खत्म हो गया है. आखिर कौन इन गुंडों को बचा रहा है? 40 गाड़ियों का काफिला लेकर खुलेआम हिंसा की जा रही है. उन्होंने चुनाव आयोग से स्वयं संज्ञान लेकर निष्पक्ष कार्रवाई करने की मांग की.
स्थिति पर नजर बनाए हुए प्रशासन
पटना (ग्रामीण) एसपी के अनुसार, प्रारंभिक जांच में पुष्टि हुई है कि दुलारचंद की मौत गोली लगने और वाहन से कुचलने दोनों कारणों से हुई. इलाके में सुरक्षा बलों की तैनाती बढ़ा दी गई है और धारा 144 लागू है.


