क्या सच में उर्वशी रौतेला के नाम पर है उत्तराखंड में मंदिर? क्या है उनके दावे की सच्चाई...जानें यहां
बद्रीनाथ धाम के पूर्व धार्मिक अधिकारी स्थानीय पुजारी भुवन चंद्र उनियाल ने कहा कि उर्वशी रौतेला का दावा भ्रामक है. उन्होंने स्पष्ट किया कि उर्वशी मंदिर हिंदू पौराणिक कथाओं में पूज्य देवी सती से जुड़ा है और इसे 108 शक्तिपीठों में से एक माना जाता है. उन्होंने कहा कि यह मंदिर बामनी और पांडुकेश्वर गांवों के निवासियों की आध्यात्मिक प्रथाओं से गहराई से जुड़ा हुआ है.

बॉलीवुड अभिनेत्री उर्वशी रौतेला ने दावा किया है कि उत्तराखंड में उनके नाम का एक मंदिर है. उनकी टिप्पणी के बाद विवाद हो गया है. एक्ट्रेस की टिप्पणी से स्थानीय पुजारी, धार्मिक अधिकारी और बद्रीनाथ के लोग नाराज हो गए हैं. दरअसल, बद्रीनाथ धाम के पास स्थित उर्वशी मंदिर है, जिसे स्थानीय लोग पवित्र मानते हैं. उर्वशी रौतेला ने एक इंटरव्यू के दौरान अपने नाम का मंदिर बताया.
अभिनेत्री ने कहा था कि उर्वशी मंदिर में दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्रों सहित कई भक्त आते हैं, जो उनकी तस्वीरों पर माला चढ़ाते हैं और उन्हें 'दमदमई' कहते हैं. उन्होंने दावा किया कि मैं इस बारे में गंभीर हूं. यह सच है. इस बारे में लेख भी हैं. आप उन्हें पढ़ सकते हैं. मंदिर के बारे में दावा करते हुए अभिनेता का एक क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है.
क्या है धार्मिक मान्यता?
आपको बता दें कि बद्रीनाथ धाम के निकट बामनी में स्थित उर्वशी मंदिर देवी उर्वशी को समर्पित है, जिनके बारे में विभिन्न किंवदंतियों के अनुसार माना जाता है कि वे उस स्थान से उत्पन्न हुई थीं, जहां देवी सती के शरीर के अंग गिरे थे.
उर्वशी रौतेला का दावा भ्रामक है
बद्रीनाथ धाम के पूर्व धार्मिक अधिकारी स्थानीय पुजारी भुवन चंद्र उनियाल ने कहा कि उर्वशी रौतेला का दावा भ्रामक है. उन्होंने स्पष्ट किया कि उर्वशी मंदिर हिंदू पौराणिक कथाओं में पूज्य देवी सती से जुड़ा है और इसे 108 शक्तिपीठों में से एक माना जाता है. उन्होंने कहा कि यह मंदिर बामनी और पांडुकेश्वर गांवों के निवासियों की आध्यात्मिक प्रथाओं से गहराई से जुड़ा हुआ है, जो अपनी परंपरा के तहत वहां पूजा करते हैं. उन्होंने रौतेला के खिलाफ कार्रवाई की मांग की और धार्मिक स्थल पर मालिकाना हक जताने के लिए अभिनेत्री की आलोचना की. उनियाल ने कहा, "यह उनका मंदिर नहीं है. इस तरह के बयान अस्वीकार्य हैं और सरकार को ऐसे दावे करने वालों के खिलाफ सख्त कदम उठाने चाहिए."
ब्रह्म कपाल तीर्थ पुरोहित सोसाइटी के अध्यक्ष अमित सती ने भी रौतेला के बयान की निंदा की है. उन्होंने कहा कि मंदिर प्राचीन है और देवी उर्वशी से जुड़ा है, किसी व्यक्ति से नहीं. उन्होंने कहा, "ऐसे बयान यहां के लोगों की धार्मिक भावनाओं का अनादर करते हैं." बामणी और पांडुकेश्वर के ग्रामीणों ने भी रोष व्यक्त किया है.
ये हैं उर्वशी रौतेला, जो कहती हैं कि उत्तराखंड में उनके नाम का मंदिर है।
— Ramesh Bhatt (@Rameshbhimtal) April 18, 2025
आगे कहती हैं की उनकी चाहत है कि साउथ इंडिया में भी उनके नाम का मंदिर बने
सच क्या है ?
सच ये है कि चमोली के बामणी गांव में मां उर्वशी का मंदिर जरूर है ।
मगर उसका कलियुग की उर्वशी यानी @UrvashiRautela से… pic.twitter.com/LZ8r7htKGs
स्थानीय निवासी रामनारायण भंडारी ने कहा कि किसी भी व्यक्ति को पौराणिक और सांस्कृतिक महत्व वाले मंदिर पर निजी दावा करने का अधिकार नहीं है. उन्होंने कहा कि पूरा समुदाय रौतेला की टिप्पणी का कड़ा विरोध करता है.
साउथ में भी मंदिर बनाने की इच्छा
वायरल हो रहे उसी इंटरव्यू क्लिप में उर्वशी रौतेला को यह कहते हुए भी सुना जा सकता है कि वह साउथ में अपने नाम पर एक मंदिर बनाना चाहती हैं क्योंकि उन्होंने वहां कई फिल्मों में काम किया है. "तो, आप साउथ में एक मंदिर चाहते हैं?", साक्षात्कारकर्ता को यह पूछते हुए सुना जाता है, जिस पर रौतेला जवाब देती हैं, "हां, क्योंकि मैंने साउथ में काम किया है, इसलिए यह (मंदिर) वहां होना चाहिए".