भारत के पूर्व विदेश मंत्री एसएम कृष्णा का निधन, राजनीति जगत में शोक
Former Foreign Minister of India SM Krishna: एसएम कृ्ष्णा मनमोहन सरकार में विदेश मंत्री रहे. वह महाराष्ट्र के राज्यपाल भी रहे. अपने पूरे राजनीतिक जीवन में कांग्रेस के कद्दावर नेता रहे एसएम कृष्णा ने 29 जनवरी 2017 को कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था. मार्च 2017 में आधिकारिक तौर पर वह बीजेपी में शामिल हो गए.

Former Foreign Minister of India SM Krishna: भारत के वरिष्ठ नेता और पूर्व विदेश मंत्री एसएम कृष्णा का निधन हो गया है. वह 92 वर्ष के थे. 10 दिसंबर की सुबह करीब 2:30 बजे, बेंगलुरु के सदाशिवनगर स्थित अपने घर में उन्होंने आखिरी सांस ली. पिछले कुछ समय से वह उम्र संबंधी बीमारियों से जूझ रहे थे और हाल ही में उन्हें बेंगलुरु के मणिपाल अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन बाद में अस्पताल से छुट्टी मिलने के बाद उनकी तबियत फिर से बिगड़ गई.
एसएम कृष्णा के निधन से भारतीय राजनीति में एक बड़ा शोक छा गया है. उनका जीवन राजनीति, सेवा और राष्ट्र निर्माण के प्रति समर्पित था.
एसएम कृष्णा का जीवन परिचय
एसएम कृष्णा का जन्म 1 मई 1932 को कर्नाटक के मांड्या जिले के सोमनहल्ली गांव में हुआ था. उनका पूरा नाम सोमनहल्ली मल्लया कृष्णा था. उनकी शिक्षा-दीक्षा भी कई महत्वपूर्ण संस्थानों में हुई. उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा हत्तूर में प्राप्त की, और फिर श्री रामकृष्ण विद्याशाला, मैसूर से माध्यमिक शिक्षा ली. इसके बाद उन्होंने महाराजा कॉलेज, मैसूर से कला स्नातक की डिग्री और यूनिवर्सिटी लॉ कॉलेज से कानून की डिग्री प्राप्त की.
इसके अलावा, उन्होंने दक्षिणी मेथोडिस्ट विश्वविद्यालय (डलास, टेक्सास) और जॉर्ज वाशिंगटन यूनिवर्सिटी लॉ स्कूल (वाशिंगटन डीसी) से स्नातक की डिग्री भी हासिल की.
राजनीति में प्रवेश
एसएम कृष्णा ने अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत 1962 में की थी, जब उन्होंने एक स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में मद्दूर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा और जीते. हालांकि, 1967 में वह कांग्रेस के एमएम गौड़ा से हार गए थे. लेकिन 1968 में जब मांड्या लोकसभा सीट पर उपचुनाव हुआ, तब उन्होंने कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार को हराकर अपनी राजनीतिक यात्रा को और मजबूती से आगे बढ़ाया. इसके बाद, उन्होंने मांड्या से तीन बार लोकसभा चुनाव जीते और कांग्रेस पार्टी के मजबूत नेता के रूप में अपनी पहचान बनाई.
मंत्री पद और प्रमुख भूमिकाएं
एसएम कृष्णा का राजनीतिक जीवन उतार-चढ़ाव से भरा हुआ था, लेकिन उन्होंने हमेशा कर्नाटका और भारतीय राजनीति में एक महत्वपूर्ण स्थान हासिल किया. वह महाराष्ट्र के राज्यपाल रहे और 2009 में विदेश मंत्री बने. उनके कार्यकाल के दौरान भारत के विदेश नीति में कई महत्वपूर्ण बदलाव और सुधार देखे गए. उनके नेतृत्व में भारत ने वैश्विक स्तर पर अपनी छवि को मजबूत किया.
एसएम कृष्णा ने 2017 में कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दिया और भारतीय जनता पार्टी (BJP) का दामन थाम लिया. इस कदम ने भारतीय राजनीति में काफी हलचल मचाई.
एसएम कृष्णा का योगदान
एसएम कृष्णा का योगदान भारतीय राजनीति में अमूल्य है. वह कर्नाटक में कांग्रेस पार्टी के मजबूत नेता के रूप में प्रसिद्ध थे और उन्होंने अपनी पूरी राजनीति में हमेशा जनता की भलाई और देश के हितों को प्राथमिकता दी. उनके विदेश मंत्री बनने के बाद भारत के अंतर्राष्ट्रीय संबंधों में भी सुधार हुआ और उन्होंने कई वैश्विक मुद्दों पर प्रभावी भूमिका निभाई.
उनकी शांतिपूर्ण और दूरदर्शी राजनीति की शैली ने उन्हें एक आदर्श नेता बना दिया. उन्होंने हमेशा देश की एकता, अखंडता और शांति को बढ़ावा दिया और अपने काम से भारतीय राजनीति में स्थिरता और विकास की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान दिया.


