भारत-मंगोलिया सैन्य अभ्यास 'नोमैडिक एलीफेंट 2025' उलानबातार में शुरू, आतंकवाद विरोधी ऑपरेशन पर रहेगा फोकस
भारत और मंगोलिया के बीच सैन्य संबंधों को नई मजबूती देने के उद्देश्य से संयुक्त सैन्य अभ्यास ‘नोमैडिक एलीफेंट 2025’ की शुरुआत 31 मई को मंगोलिया की राजधानी उलानबातार में हुई. इस अभ्यास में दोनों देशों की सेनाएं साथ मिलकर आतंकवाद रोधी अभियानों और संयुक्त राष्ट्र शांति मिशनों जैसी जटिल परिस्थितियों का अभ्यास करेंगी.

भारत और मंगोलिया के बीच रक्षा सहयोग को और मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया गया है. दरअसल, संयुक्त सैन्य अभ्यास 'नोमैडिक एलीफेंट 2025' की 17वीं श्रृंखला 31 मई 2025 को मंगोलिया की राजधानी उलानबातार में शुरू हुई. यह अभ्यास 13 जून 2025 तक चलेगा और दोनों देशों की सेनाओं के बीच तालमेल, रणनीतिक सोच और संयुक्त ऑपरेशनल क्षमता को बढ़ाने पर केंद्रित रहेगा.
उद्घाटन समारोह में भारत के मंगोलिया में राजदूत अतुल मल्हारी गोतसुरवे और मंगोलियाई सेना की ओर से मेजर जनरल लखागवसुरेन गानसेलेम ने भाग लिया. दोनों गणमान्य व्यक्तियों ने प्रशिक्षण में भाग ले रहे सैनिकों को शुभकामनाएं देते हुए इस अभ्यास को द्विपक्षीय संबंधों में एक नया आयाम देने वाला बताया.
विशेष बलों के प्रशिक्षण केंद्र में हो रहा अभ्यास
यह सैन्य अभ्यास उलानबातार स्थित स्पेशल फोर्सेज ट्रेनिंग सेंटर में आयोजित किया जा रहा है, जहां दोनों देशों की सेनाएं मिलकर विशेष अभियानों का अभ्यास कर रही हैं. इस बार अभ्यास के दायरे को और व्यापक बनाया गया है, ताकि वर्तमान वैश्विक सुरक्षा परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए व्यावहारिक रणनीतियों का विकास किया जा सके.
आतंकवाद विरोधी अभियानों पर केंद्रित होंगे अभ्यास
इस सैन्य अभ्यास में अर्द्ध-पहाड़ी इलाकों में आतंकवाद रोधी ऑपरेशन का अभ्यास प्रमुख रूप से शामिल किया गया है. दोनों सेनाएं मिलकर उन परिस्थितियों का सामना करने की तैयारी करेंगी, जो आतंकवादी हमलों और सीमित संसाधनों में संचालन के दौरान उत्पन्न होती हैं.
शांति मिशन आधारित ऑपरेशन का सिमुलेशन
अभ्यास के दौरान संयुक्त राष्ट्र शांति मिशन जैसे अभियानों की भी सटीक सिमुलेशन की जाएगी. इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि जब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बहुराष्ट्रीय बलों को एक साथ मिलकर कार्य करना पड़े, तो वे अधिक प्रभावी और समन्वयित ढंग से अपने कर्तव्यों का निर्वहन कर सकें.
रणनीतिक तालमेल और दोस्ती को मिलेगा बढ़ावा
यह सैन्य अभ्यास सिर्फ प्रशिक्षण तक सीमित नहीं है, बल्कि इसका एक प्रमुख उद्देश्य भारत और मंगोलिया की सेनाओं के बीच विश्वास और मित्रता को गहरा करना भी है. इस दौरान दोनों पक्षों के सैनिक रणनीतिक जानकारी साझा करेंगे, एक-दूसरे की कार्यशैली को समझेंगे और युद्धक स्थितियों में बेहतर तालमेल विकसित करेंगे.
क्षेत्रीय शांति और स्थिरता के लिए प्रतिबद्धता
'नोमैडिक एलीफेंट 2025' अभ्यास के समापन पर दोनों सेनाएं इस बात की पुष्टि करेंगी कि वे न सिर्फ अपनी सैन्य क्षमताओं को सशक्त कर रही हैं, बल्कि क्षेत्रीय शांति, सुरक्षा और स्थिरता के लिए भी समान रूप से प्रतिबद्ध हैं.राजदूत अतुल मल्हारी गोतसुरवे ने कहा कि यह अभ्यास भारत और मंगोलिया के बीच बढ़ते सैन्य सहयोग का प्रतीक है और हमें उम्मीद है कि इससे दोनों देशों की सेनाएं एक-दूसरे को बेहतर तरीके से समझेंगी. मेजर जनरल लखागवसुरेन गानसेलेम ने कहा, 'यह संयुक्त प्रशिक्षण हमारी साझा सुरक्षा चिंताओं के समाधान में मदद करेगा और हमारे संबंधों को नई ऊंचाई पर ले जाएगा.'


