बारात तैयार दूल्हा गायब, महायुति सरकार के शपथग्रहण की तारीख आई सामने
बाराती तैयार हैं लेकिन अभी तक दूल्हे का पता नहीं...महाराष्ट्र में सरकार के शपथग्रहण की तारीख तो सामने आ गई है. लेकिन मुख्यमंत्री के नाम पर अभी भी फैसला नहीं हो सका है. सूत्रों के मुताबिक, महाराष्ट्र में महायुति की नई सरकार 5 दिसंबर को शपथ लेगी.
महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री को लेकर अभी तक कोई फैसला नहीं हो सका है लेकिन सरकार के शपथग्रहण की तैयारियों शुरू हो चुकी हैं. सूत्रों के मुताबिक, महायुति की नई सरकार 5 दिसंबर को शपथ ले सकती है. शपथग्रहण के लिए मुंबई के ऐतिहासिक आजाद मैदान को चुना गया है. मुख्यमंत्री समेत सभी मंत्री यहीं शपथ लेंगे. हालांकि, मुख्यमंत्री के साथ कितने कैबिनेट मंत्रियों का शपथ होगा, इसकी जानकारी अभी तक सामने नहीं आई है.
समारोह में पीएम मोदी समेत बीजेपी के तमाम मुख्यमंत्रियों और अन्य दिग्गजों के जुटने की संभावना है. सूत्रों ने बताया कि किसको किसको क्या मंत्रालय मिलेगा ये तो तीनों पार्टियों के नेता तय करेंगे और आगे का फॉर्मूला भी तीनों दलों के नेता तय करेंगे.
वहीं, भाजपा सूत्रों के मुताबिक, 2 दिसंबर को भाजपा विधायकों की बैठक होगी, जिसमें विधायक अपने दल के नेता का चुनाव करेंगे.विधायक दल के नेता चुनने के लिए बीजेपी केंद्र से पर्यवेक्षक भेजेगी. विधायक दल की बैठक के तुरंत बाद सरकार बनाने का दावा पेश किया जाएगा. इसके बाद शपथग्रहण के तारीख की आधिकारिक घोषणा की जाएगी.
सरकार के गठन को लेकर महायुति में चल रही माथापच्ची के बीच एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना की पहली डिमांड सामने आई है. पार्टी ने गृह मंत्रालय की मांग की है. शिंदे सेना के नेता संजय शिरसाट का कहना है कि महाराष्ट्र की नई सरकार में शिवसेना को गृह विभाग मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि गृह विभाग (आमतौर पर) उपमुख्यमंत्री के पास होता है.
वहीं महायुति CM पद को लेकर अभीतक फैसला नहीं ले पा रही है. माना जा रहा है कि बीजेपी हाईकमान जातीय समीकरण से लेकर एनडीए के सहयोगी दलों को भरोसे में लेकर निर्णय लेना चाहता है. यही वजह है कि पिछले कुछ दिन से मुंबई से लेकर दिल्ली तक बैठकें चल रही हैं.
वानखेड़े और शिवाजी पार्क में हुआ था शपथ
2014 में जब देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री बने थे, तब उन्होंने मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में शपथ लिया था. इस समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शामिल हुए थे. फडणवीस की यह सरकार पूरे 5 साल तक चली.
2019 में फडणवीस दूसरी बार मुख्यमंत्री बने, लेकिन इस बार राजभवन में ही शपथग्रहण का आयोजन किया गया. 2019 में फडणवीस की सरकार विश्वासमत के लिए विधानसभा भी नहीं पहुंच पाई.
उद्धव जब मु्ख्यमंत्री बने तो उन्होंने शपथ के लिए शिवाजी मैदान को चुना. शिवाजी मैदान में ही बालासाहेब ठाकरे का अंतिम संस्कार हुआ है. शिवसेना के लिए इस मैदान को काफी अहम माना जाता है.
महायुति को मिली था बंपर जीत
आपको बता दें कि 288 सदस्यों की महाराष्ट्र विधानसभा में महायुति ने 233 सीटों पर जीत हासिल की है जिसमें बीजेपी की 132, शिंदे शिवसेना की 57 और एनसीपी की 41 सीटें शामिल हैं. . बीजेपी ने इस बार चुनाव में 149 उम्मीदवार उतारे थे. जबकि शिवसेना ने 81 और एनसीपी ने 59 प्रत्याशियों को टिकट दिया था.
वहीं विपक्षी गठबंधन महाविकास अघाडी महज 49 सीटें हासिल कर पाई जिसमें सबसे ज्यादा उद्धव ठाकरे की शिवसेना (20 सीट) हासिल की थी. इसके अलावा कांग्रेस 16 और शरद पवार की एनसीपी 10 सीट जीत पाई थी.
मंत्री पद बंटवारे का फॉर्मूला
सूत्रों के अनुसार, सरकार में विभागों के बंटवारे में प्रत्येक सहयोगी दल की हिस्सेदारी तय करने के लिए छह विधायकों पर एक मंत्री पद के फॉर्मूले पर विचार किया जाएगा. इसके अनुसार, भाजपा के पास करीब 21 से 22 मंत्री पद, शिवसेना शिंदे गुट को 10 से 12 मंत्रालय और अजित पवार एनसीपी गुट को करीब 8 से 9 मंत्रालय मिलेंगे. महाराष्ट्र में मंत्री पद का कुल कोटा मुख्यमंत्री पद सहित 43 से अधिक नहीं होना चाहिए.