जगदीप धनखड़ के इस्तीफे पर विपक्ष को शक, क्या सिर्फ स्वास्थ्य है वजह?
भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने सोमवार को अपने पद से अचानक इस्तीफा दे दिया. यह फैसला संसद के मानसून सत्र के पहले दिन आया, जिससे सियासी हलकों में हलचल मच गई है. विपक्षी दलों ने इसे लेकर सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं.

Jagdeep Dhankhar Resigns: संसद के मानसून सत्र के पहले ही दिन उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अचानक अपने पद से इस्तीफा दे दिया. जगदीप धनखड़ के इस्तीफे से देश की राजनीति में उथल-पुथल मच गई है. स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए धनखड़ ने राष्ट्रपति को इस्तीफा सौंपा, लेकिन विपक्षी दलों को इस फैसले के पीछे कुछ और ही नजर आ रहा है.
कांग्रेस समेत कई विपक्षी दलों का मानना है कि यह फैसला जितना सरल दिखता है, उतना है नहीं. कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि इस्तीफा जितना अप्रत्याशित था, उससे ज्यादा हैरान करने वाला इसका समय है. खासकर तब जब उपराष्ट्रपति उसी दिन संसद के अहम कामों में सक्रिय भूमिका निभा रहे थे.
उपराष्ट्रपति और राज्यसभा के सभापति का अचानक इस्तीफा जितना चौंकाने वाला है, उतना ही अकल्पनीय भी है। आज शाम करीब 5 बजे तक मैं उनके साथ था, वहां कई अन्य सांसद भी साथ थे, और शाम 7:30 बजे मेरी उनसे फोन पर बातचीत भी हुई थी।
निःसंदेह, श्री जगदीप धनखड़ को अपने स्वास्थ्य को सर्वोच्च…— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) July 21, 2025
इस्तीफे की टाइमिंग पर उठे सवाल
धनखड़ ने संसद के मानसून सत्र के पहले ही दिन अपना इस्तीफा सौंपा, जो कि राजनीतिक रूप से बेहद अहम समय होता है. कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा, "आज सुबह ही मेरी उनसे बातचीत हुई थी. उन्होंने बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक भी बुलाई थी और न्यायपालिका से जुड़े कुछ बड़े ऐलान करने वाले थे. ऐसे में उनका अचानक इस्तीफा देना सवाल खड़े करता है." उन्होंने आगे कहा, "निश्चित रूप से उन्हें अपने स्वास्थ्य को प्राथमिकता देनी चाहिए, लेकिन यह पूरी तरह अनपेक्षित है. हमें इससे जुड़ी स्पष्टता और पारदर्शिता चाहिए."
कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि वे धनखड़ को इस्तीफा वापस लेने के लिए मनाएं. जयराम रमेश ने कहा, "यह देशहित में होगा. खासतौर पर किसान समुदाय इससे राहत महसूस करेगा."
सीपीआई और शिवसेना ने भी जताई हैरानी
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (सीपीआई) के सांसद पी संतोश कुमार ने कहा, "यह फैसला काफी अप्रत्याशित है. हमें नहीं पता इसकी असल वजह क्या है. हो सकता है कि वे किसी चीज से असंतुष्ट हों. मुझे नहीं लगता कि राष्ट्रपति इसे स्वीकार करेंगे."
शिवसेना (यूबीटी) नेता आनंद दुबे ने कहा, "अगर स्वास्थ्य कारण थे, तो इस्तीफा सत्र शुरू होने से पहले या बाद में भी दिया जा सकता था. पहले दिन ही ऐसा फैसला लेना सोचने पर मजबूर करता है कि सरकार के भीतर क्या चल रहा है."
कपिल सिब्बल और एआईएमआईएम का नरम रुख
राज्यसभा सांसद कपिल सिब्बल ने धनखड़ को देशभक्त बताते हुए कहा कि यदि उन्होंने स्वास्थ्य कारणों से इस्तीफा दिया है, तो उसे स्वीकार करना चाहिए. उन्होंने कहा, "व्यक्तिगत रूप से मुझे दुख हुआ. हमारे विचार नहीं मिलते थे लेकिन वे स्पष्टवादिता के लिए जाने जाते थे."
एआईएमआईएम नेता वारिस पठान ने कहा, "उन्हें शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करते हैं. उन्होंने स्वास्थ्य कारणों से इस्तीफा दिया है, हमें उनकी बात का सम्मान करना चाहिए."


