तुर्की से रिश्ते बिगड़े तो रसोई पर पड़ेगा असर! ये चीजें हो सकती हैं महंगी
पहलगाम हमले के बाद तुर्की द्वारा पाकिस्तान का समर्थन भारत में भारी जनविरोध का कारण बना, जिससे #BoycottTurkey ट्रेंड शुरू हुआ. ऐसे में आइए जानते हैं कि अगर तुर्की से रिश्ते बिगड़े तो क्या चीजें महंगी हो सकती हैं.

पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने जब आतंकियों के खिलाफ 'ऑपरेशन सिंदूर' की शुरुआत की, तो पाकिस्तान में खलबली मच गई. जवाबी कार्रवाई के डर से पाकिस्तान ने भारत पर मिसाइल और ड्रोन हमले की बड़ी साजिश रची, लेकिन भारतीय वायु रक्षा प्रणाली ने अधिकांश खतरे को हवा में ही नष्ट कर दिया. इसी दौरान, तुर्की ने पाकिस्तान का खुलकर समर्थन किया, जिससे भारत में व्यापक आक्रोश फैल गया.
तुर्की के इस रुख से भारत में जनभावनाएं भड़क उठीं और सोशल मीडिया पर #BoycottTurkey ट्रेंड करने लगा. लोग तुर्की से आयात होने वाले सामानों का बहिष्कार करने की अपील कर रहे हैं. इसका असर अब भारतीय बाजार और खासकर रसोई तक महसूस किया जाने लगा है. जानिए, तुर्की से बिगड़ते रिश्तों का भारतीय रसोई और व्यापार पर क्या असर पड़ सकता है.
तुर्की से आयातित सेब पर रोक की शुरुआत
#BoycottTurkey अभियान के तहत भारतीय व्यापारियों ने तुर्की से सेब ना खरीदने का फैसला लिया है. बता दें, भारत हर साल करीब 1.29 लाख टन सेब तुर्की से आयात करता है. ऐसे में इस आयात पर रोक का सीधा असर बाजार में सेब की उपलब्धता और कीमतों पर पड़ सकता है.
सूखे मेवे और मसाले हो सकते हैं महंगे
तुर्की भारत को बड़ी मात्रा में सूखे मेवे जैसे कि किशमिश, अखरोट और बादाम, साथ ही कुछ विशेष प्रकार के मसाले भी निर्यात करता है. अगर #BoycottTurkey का अभियान लंबा चला, तो इन खाद्य उत्पादों की कीमतों में तेज उछाल देखने को मिल सकता है. इसके साथ ही, थोक व्यापार पर भी इसका गहरा प्रभाव पड़ेगा.
तुर्की डिशेज पर भी मंडराने लगा संकट
भारत के मेट्रो शहरों में तुर्की खानपान को लेकर काफी क्रेज है. दिल्ली, मुंबई, हैदराबाद जैसे शहरों में कुनाफा, तुर्किश कबाब, और शावरमा जैसे व्यंजन बेहद लोकप्रिय हैं. लेकिन जैसे-जैसे विरोध बढ़ रहा है, इन व्यंजनों की बिक्री में गिरावट दर्ज की जा सकती है, खासकर उन रेस्टोरेंट्स पर जो तुर्की ब्रांडिंग से जुड़े हैं.
‘तुर्किश टी’ और चाय की कीमतों पर असर
राजधानी दिल्ली के शाहीन बाग से लेकर देश के अन्य हिस्सों तक, तुर्किश टी एक खास पहचान बना चुकी है. लोग इसके स्वाद के दीवाने हैं. लेकिन तुर्की से आने वाली चाय की खेप पर असर पड़ने से घरेलू बाजार में चाय की कीमतों में बदलाव आ सकता है. ये बदलाव हर घर की रसोई को प्रभावित कर सकता है.
भारत की नाराजगी और तुर्की के प्रति जनविरोध
तुर्की के इस खुले समर्थन पर भारत सरकार और आम नागरिकों की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई है. सोशल मीडिया पर लाखों की संख्या में लोग #BoycottTurkey अभियान का समर्थन कर रहे हैं. इस ट्रेंड ने साफ कर दिया है कि भारत अब रणनीतिक और आर्थिक मोर्चे पर भी जवाब देने के मूड में है.


