जाफर एक्सप्रेस पर आतंकी हमले की पूरी कहानी, सुसाइड जैकेट पहने थे हमलावर
पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में एक ट्रेन को हाईजैक कर लिया गया. इस ट्रेन के नामकरण की कहानी भी काफी दिलचस्प है, इसके तार पाकिस्तान के पहले गवर्नर जनरल मोहम्मद अली जिन्ना से जुड़ते हैं. इस ट्रेन की पटरी पर दौड़ने की शुरुआत 13 मई 2004 को हुई थी.

बलूचिस्तान प्रांत में मंगलवार को एक और गंभीर घटना घटी. खबरों के अनुसार, बलूच आतंकवादियों ने एक सुरंग के पास ट्रेन पर हमला कर दिया और यात्रियों को बंधक बना लिया. जब यह हमला हुआ, तब ट्रेन में लगभग 500 यात्री सवार थे. हमलावरों के अलावा कुछ आम लोग भी मारे गए. इस घटना के साथ-साथ जाफर एक्सप्रेस ट्रेन की शुरुआत की कहानी भी चर्चा में आई.
पाकिस्तानी अखबार "डॉन" की वेबसाइट के मुताबिक, हमले के बाद करीब 155 यात्रियों को बंधक बना लिया गया था. सुरक्षा बलों का दावा है कि अब तक 155 यात्रियों को सुरक्षित बचा लिया गया है. रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि आतंकवादियों ने आत्मघाती हमलावरों को कुछ बंधकों के पास रखा था, जिनके पास विस्फोटकों से लदी जैकेटें थीं.
जाफर एक्सप्रेस की कहानी
जाफर एक्सप्रेस का नाम पाकिस्तान के पहले गवर्नर जनरल मोहम्मद अली जिन्ना से जुड़ा हुआ है. इस ट्रेन की शुरुआत 13 मई 2004 को हुई थी, जब पाकिस्तान के प्रधानमंत्री जफरुल्ला खान जमाली थे. इसका नाम उनके चाचा जाफर खान जमाली के नाम पर रखा गया, जो एक बड़े बलूच नेता थे और जिन्होंने पाकिस्तान आंदोलन का समर्थन किया था.
यह ट्रेन बहुत खास
यह ट्रेन बहुत खास है, क्योंकि 2004 में शुरू होने के बाद यह पहली ट्रेन थी जो पाकिस्तान रेलवे नेटवर्क पर दौड़ी. यह ट्रेन क्वेटा से सुक्कुर, लाहौर और रावलपिंडी तक 1494 किलोमीटर की दूरी तय करती है. यह ट्रेन कुल 18 स्टेशनों पर रुकती है और पूरी यात्रा 27 घंटे में पूरी होती है. ट्रेन में कुल 3 लोअर एसी कोच और 4 इकोनॉमी क्लास कोच होते हैं. हर लोअर एसी कोच में 54 बर्थ और 9 सीटें होती हैं, जबकि इकोनॉमी क्लास में 51 बर्थ और 9 सीटें होती हैं.
हमला
बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (BLA) ने इस हमले की जिम्मेदारी ली है. बोलान क्वेटा और सिबी के बीच 100 किलोमीटर लंबा पहाड़ी इलाका है, जहां ट्रेन की गति अक्सर धीमी रहती है. इस क्षेत्र में 17 सुरंगें हैं, जिनसे होकर रेलवे ट्रैक गुजरता है. बताया जा रहा है कि आतंकवादियों ने कुछ यात्रियों को पहाड़ी इलाकों में ले जाया है, और सुरक्षा बल उनका पीछा कर रहे हैं. बीएलए ने चेतावनी दी है कि अगर पाकिस्तानी सेना कोई ऑपरेशन चलाती है, तो सभी बंधकों को मार दिया जाएगा.