'जिस टोनी के लिए दो बहनों ने फिनायल पिया, वो भी तीसरे दिन नहीं बचा...', लखनऊ की दिल दहला देने वाली कहानी
लखनऊ के पारा थाना इलाके में एक दिल दहला देने वाली घटना ने पूरे परिवार को गहरे सदमे में डाल दिया. डिप्रेशन से जूझ रही दो सगी बहनों ने एक-दूसरे का साथ न छोड़ने का फैसला किया और फिनायल पीकर इस दुनिया को अलविदा कह दिया. बहनों के जाने के कुछ ही दिन बाद उनका प्यारा पालतू कुत्ता टोनी, जो बीमार चल रहा था, भी चुपचाप दुनिया छोड़ गया.

नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से एक ऐसी दर्दनाक खबर सामने आई है, जिसने पूरे इलाके को गहरे शोक में डुबो दिया है. पारा थाना क्षेत्र में दो सगी बहनों द्वारा आत्महत्या के बाद अब उनके पालतू कुत्ते की मौत ने इस कहानी को और भी हृदय विदारक बना दिया है. एक ही परिवार पर टूटे इन लगातार सदमों ने हर किसी को भावुक कर दिया है.
बुधवार को राधा सिंह (24–25 वर्ष) और जिया उर्फ शानू सिंह (22 वर्ष) ने फिनायल पीकर अपनी जान दे दी थी. परिवार इस सदमे से उबर भी नहीं पाया था कि शनिवार सुबह उनके पालतू डॉग ‘टोनी’ की भी लंबी बीमारी के बाद मौत हो गई. बहनों और उनके डॉगी की मौत ने मोहल्ले में मातम का माहौल बना दिया है.
कहा की है घटना?
यह मामला लखनऊ के पारा थाना क्षेत्र का है. परिजनों के अनुसार, जर्मन शेफर्ड नस्ल का टोनी परिवार के लिए सिर्फ एक पालतू जानवर नहीं, बल्कि घर के सदस्य जैसा था. दोनों बहनों का टोनी से बेहद गहरा भावनात्मक जुड़ाव था. राधा और जिया दोनों ग्रेजुएट थीं और घर पर ही रहती थीं.
डिप्रेशन और पारिवारिक दुखों का बोझ
परिवार के लोगों ने बताया कि दोनों बहनें पिछले कई वर्षों से मानसिक तनाव से जूझ रही थीं. घर में पहले से ही दुखों का साया था. उनके छोटे भाई की ब्रेन हेमरेज से मौत हो चुकी थी और पिता गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं. ऐसे हालात में टोनी ही दोनों बहनों का सबसे बड़ा भावनात्मक सहारा बना हुआ था.
टोनी की बीमारी बनी बड़ा डर
टोनी पिछले एक महीने से अधिक समय से गंभीर रूप से बीमार था. परिवार ने कई डॉक्टरों से उसका इलाज कराया, लेकिन हालत में कोई खास सुधार नहीं हुआ. बहनों को डर सताने लगा था कि कहीं टोनी उन्हें छोड़कर न चला जाए. इसी आशंका और गहरे डिप्रेशन के बीच बुधवार को दोनों ने फिनायल पी लिया.
परिवार का टूटा सपना
जब मां गुलाबा देवी को घटना की जानकारी हुई तो वह दोनों को तुरंत अस्पताल लेकर पहुंचीं. डॉक्टरों ने बताया कि बड़ी बहन राधा की पहले ही मौत हो चुकी थी, जबकि जिया ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया. मरते समय बहनों ने मां से एक ही गुहार लगाई थी. 'हमारे जाने के बाद टोनी को घर से मत भगाना, उसकी दवा कराते रहना.'
बहनों के बाद डॉगी ने भी तोड़ा दम
दोनों बहनों की मौत के बाद टोनी और ज्यादा सुस्त हो गया था. उसने खाना-पीना लगभग छोड़ दिया था. परिवार का कहना है कि टोनी बहनों के जाने का गम सह नहीं पाया. शनिवार सुबह उसकी हालत अचानक बिगड़ी और कुछ ही घंटों में उसकी भी मौत हो गई.
मोहल्ले में पसरा सन्नाटा
परिवार अब टोनी का भी विधि-विधान से अंतिम संस्कार करने की तैयारी कर रहा है. पड़ोसियों के अनुसार, दोनों बहनें बेहद शांत और संवेदनशील स्वभाव की थीं. टोनी के बीमार होने पर वे खुद भी खाना छोड़ देती थीं. यह घटना इंसान और जानवर के बीच गहरे भावनात्मक रिश्ते की मिसाल तो है ही, साथ ही मानसिक स्वास्थ्य को नजरअंदाज करने के खतरों की ओर भी इशारा करती है. पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है. जिस घर में कभी हंसी-खुशी गूंजती थी, वहां अब सिर्फ सन्नाटा और मातम रह गया है.


