NASA को अंतरिक्ष में मिला बेशकीमती खजाना, कीमत इतनी कि हर शख्स हो जाए रईस
दुनिया में जब भी खजाने की बात होती है तो जमीन के नीचे दफन दौलत की कल्पना की जाती है, लेकिन अब वैज्ञानिकों ने अंतरिक्ष में ऐसा खजाना खोज निकाला है जो कल्पना से भी परे है. नासा को एक ऐसा क्षुद्रग्रह (Asteroid) मिला है, जो इतना कीमती है कि अगर उसके खनिजों को धरती पर लाया जाए तो हर इंसान अरबपति बन सकता है.

धरती से करोड़ों किलोमीटर दूर एक छोटा सा क्षुद्रग्रह पूरे मानव जाति की किस्मत बदल सकता है. इस खगोलीय पिंड पर इतना सोना है कि अगर इसे पृथ्वी पर लाया जाए, तो हर व्यक्ति अरबपति बन सकता है. अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी NASA ने इस धातुओं से भरे अनोखे क्षुद्रग्रह की पहचान की है, जिसका नाम है 16 Psyche.
नासा ने इस ग्रह के अध्ययन के लिए अक्टूबर 2023 में एक विशेष अंतरिक्ष मिशन लॉन्च किया था, जिसे 'Psyche Spacecraft' कहा गया. यह यान करीब 3.5 अरब किलोमीटर की यात्रा तय करके अगस्त 2029 तक 16 Psyche तक पहुंचेगा. इसके बाद वैज्ञानिक तय करेंगे कि इस पर खनन कर पाएंगे या नहीं.
क्या है 16 Psyche?
यह क्षुद्रग्रह मंगल और बृहस्पति के बीच की कक्षा में स्थित है. इसका आकार आलू की तरह है और यह अपने सबसे चौड़े हिस्से में 280 किलोमीटर चौड़ा और 232 किलोमीटर लंबा है. इसका सतही क्षेत्रफल लगभग 1,65,800 वर्ग किलोमीटर है.
सोने, लोहा और प्लैटिनम से बना है यह ग्रह
वैज्ञानिकों के मुताबिक, 16 Psyche चट्टान और बहुमूल्य धातुओं का अद्भुत मिश्रण है. इसमें सोना, लोहा, प्लैटिनम और अन्य दुर्लभ धातुएं भारी मात्रा में पाई जाती हैं. अब तक के विश्लेषण बताते हैं कि यह क्षुद्रग्रह खगोलीय चट्टानों से कहीं अधिक कीमती है.
इतनी है इस ग्रह की अनुमानित कीमत
16 Psyche की कुल अनुमानित कीमत लगभग 10,000 क्वाड्रिलियन डॉलर बताई जा रही है. यानी कि अगर इस पर मौजूद खजाने को पृथ्वी पर लाया जाए तो दुनिया का हर व्यक्ति अरबपति बन सकता है.(1 क्वाड्रिलियन = 1,000,000,000,000,000)
किसने और कब की थी खोज?
इसकी खोज वर्ष 1852 में इतालवी खगोलशास्त्री एनीबेल डी गैसपरिस ने की थी. इसका नाम ग्रीक पौराणिक पात्र 'Psyche' के नाम पर रखा गया था. इसके बाद से ही यह वैज्ञानिकों की रुचि का केंद्र बना हुआ है.
क्या वाकई लाया जा सकेगा यह खजाना?
NASA का Psyche यान इस ग्रह तक पहुंचने के बाद इसके सतह, संरचना और धातु के प्रकारों का गहराई से अध्ययन करेगा. इस अध्ययन के आधार पर यह तय किया जाएगा कि क्या खनन कर इसे पृथ्वी पर लाना संभव है? हालांकि इसमें कई तकनीकी और नैतिक चुनौतियां भी हैं, जिन पर शोध अभी जारी है.


