न्यूयॉर्क के मेयर बने जोहरान ममदानी...जानिए कितनी दौलत के हैं मालिक
न्यूयॉर्क को भारतीय मूल के जोहरान ममदानी के रूप में नया मेयर मिल गया है. मेयर बनने के बावजूद भी ममदानी किराए के घर में रहते हैं. ममदानी की कुल संपत्ति करीब 1.77 करोड़ रुपये बताई गई है.

न्यूयॉर्क जैसे विश्व के सबसे प्रभावशाली शहरों में मेयर बनना किसी भी राजनेता के लिए बड़ी उपलब्धि होती है, लेकिन 34 साल के भारतीय मूल के जोहरान ममदानी ने यह कारनामा कर दिखाया है. उनकी जीत कई मायनों में खास है. एक तरफ उनकी जड़ें सीधे भारत से जुड़ी हैं, तो दूसरी तरफ उनका जीवनशैली बेहद साधारण और आम नागरिक जैसी है. न्यूयॉर्क की चकाचौंध और महंगे जीवन के बावजूद ममदानी सबवे से यात्रा करते हैं और किराए के अपार्टमेंट में रहते हैं.
ट्रंप की चेतावनी के बावजूद जीत
जोहरान ममदानी ने यह चुनाव ऐसे समय में जीता जब अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चेतावनी दी थी कि अगर ममदानी जीतते हैं तो न्यूयॉर्क को मिलने वाले फंड पर असर पड़ेगा. इसके बावजूद, खुद को डेमोक्रेटिक सोशलिस्ट बताने वाले ममदानी ने शानदार जीत दर्ज की. उनके पिता महमूद ममदानी एक प्रोफेसर हैं, जबकि उनकी मां मीरा नायर, विश्व प्रसिद्ध फिल्म निर्देशक हैं, जिन्होंने ‘सलाम बॉम्बे’ और ‘मानसून वेडिंग’ जैसी फिल्मों का निर्देशन किया. यही कारण है कि जोहरान हिंदी भी अच्छी तरह बोलते हैं और उन्होंने भारतीय मूल के मतदाताओं तक पहुंचने के लिए अपने प्रचार अभियान में हिंदी भाषा का इस्तेमाल भी किया.
संपत्ति और कमाई
जोहरान ममदानी की कुल संपत्ति लगभग 2,00,000 डॉलर (करीब 1.77 करोड़ रुपये) बताई जाती है. इसमें उनका जन्मस्थल युगांडा से मिली संपत्ति का बड़ा हिस्सा शामिल है. उनके वित्तीय ब्योरे के अनुसार, जिंजा (युगांडा) में उनके पास चार एकड़ जमीन है, जिसकी कीमत 1,50,000 से 2,50,000 डॉलर के बीच है. उनके आय का मुख्य स्रोत उनके राज्य असेंबली सदस्य के रूप में सालाना 1,42,000 डॉलर का वेतन है.
सादगी से भरा जीवन
न्यूयॉर्क जैसे महंगे शहर में रहते हुए ममदानी का जीवन बेहद साधारण है. उनके पास कोई आलीशान बंगला या कार नहीं है. वह एस्टोरिया के एक किराए के अपार्टमेंट में रहते हैं, जिसका मासिक किराया करीब 2,250 डॉलर है. काम पर जाने और प्रचार कार्यक्रमों में शामिल होने के लिए वह आम लोगों की तरह सबवे का इस्तेमाल करते हैं. उन्हें अक्सर अपना बैग खुद उठाए देखा जाता है.


