'जैसे मैंने भारत और पाकिस्तान का समझौता कराया...', ईरान-इजरायल के समझौते पर क्या बोले डोनाल्ड ट्रंप?
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि ईरान और इजरायल के बीच जल्द शांति होगी, बैलिस्टिक मिसाइल हमले के बाद तनाव बढ़ा. उन्होंने भारत-पाकिस्तान युद्धविराम में मध्यस्थता की बात की. शांति प्रक्रिया में जटिल मुद्दे होंगे, जैसे सीमा विवाद, सुरक्षा, और क्षेत्रीय प्रभाव. ट्रंप का मानना है कि अगर दोनों देश सही कदम उठाएं तो शांति संभव है.

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में एक बयान दिया जिसमें उन्होंने दावा किया कि ईरान और इजरायल के बीच जल्द ही शांति स्थापित होगी. यह बयान उन्होंने रविवार को दिया, जब इजरायल पर ईरान द्वारा बैलिस्टिक मिसाइलों की बौछार की गई थी. ट्रंप का यह दावा ऐसे समय में आया है जब मध्य-पूर्व में इन दोनों देशों के बीच तनाव और संघर्ष की स्थिति लगातार बढ़ रही है.
बैलिस्टिक मिसाइल हमले के बाद शांति की उम्मीद
ईरान द्वारा इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइलों के हमले के बाद दोनों देशों के बीच संघर्ष और बढ़ गया है. ईरान ने ये हमले अपनी सुरक्षा और क्षेत्रीय प्रभाव को बढ़ाने के उद्देश्य से किए थे. इस हमले के बाद, ट्रंप ने एक सकारात्मक उम्मीद जताते हुए कहा कि उन्हें विश्वास है कि इजरायल और ईरान के बीच जल्द ही शांति स्थापित होगी. ट्रंप ने यह भी कहा कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच युद्धविराम कराने में अपनी भूमिका निभाई थी, और अब उनका मानना है कि इसी तरह की मध्यस्थता इजरायल और ईरान के बीच शांति स्थापित करने के लिए की जा सकती है.
इजरायल और ईरान के बीच तनाव
इजरायल और ईरान के बीच तनाव कोई नई बात नहीं है. दोनों देशों के बीच कई दशकों से राजनीतिक और सैन्य विवाद रहे हैं. इजरायल का आरोप है कि ईरान विभिन्न आतंकवादी संगठनों को समर्थन देता है, जो इजरायल की सुरक्षा के लिए खतरा पैदा करते हैं. वहीं, ईरान का कहना है कि इजरायल ने उनके राष्ट्रीय हितों को लगातार नुकसान पहुँचाया है और इसके जवाब में उन्होंने कई बार सैन्य कार्रवाई की है. इन तनावपूर्ण रिश्तों के बीच, ट्रंप ने एक सकारात्मक पहल की आशा व्यक्त की है कि दोनों देश किसी समझौते तक पहुँच सकते हैं.
शांति के लिए कदम उठाने की आवश्यकता
ट्रंप ने यह स्वीकार किया कि इजरायल और ईरान के बीच शांति प्रक्रिया आसान नहीं होगी. इसके लिए दोनों देशों को कई जटिल मुद्दों पर सहमति बनानी होगी, जिनमें सीमा विवाद, सुरक्षा, और क्षेत्रीय प्रभाव के सवाल शामिल हैं. इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय दबाव और क्षेत्रीय शक्तियों का भी इस प्रक्रिया पर प्रभाव पड़ेगा. ट्रंप का कहना है कि यह शांति प्रक्रिया धीरे-धीरे विकसित होगी, लेकिन यदि दोनों देश सही दिशा में कदम उठाते हैं तो यह संभव हो सकता है.
भारत-पाकिस्तान में मध्यस्थता
भारत और पाकिस्तान के बीच युद्धविराम कराए जाने का दावा करते हुए ट्रंप ने कहा कि उन्होंने दोनों देशों के बीच शांति स्थापित करने के लिए अपनी भूमिका निभाई थी. भारत और पाकिस्तान के बीच कई दशकों से विवाद और संघर्ष जारी है, खासकर कश्मीर मुद्दे को लेकर. ट्रंप का कहना था कि उनकी सरकार ने इस विवाद को हल करने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए थे और अब वह उम्मीद करते हैं कि इजरायल और ईरान भी अपनी समस्याओं का हल बातचीत के जरिए निकालेंगे.


