'कुछ पावरफुल होने वाला है', डोनाल्ड ट्रंप का बड़ा बयान, किस पर है उनका ध्यान?
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप शपथ ग्रहण के बाद से ही एक्शन मोड में नजर आ रहे हैं. अब उन्होंने पनामा नहर को लेकर कुछ बड़ा और शक्तिशाली होने की बात कही है. ट्रंप के इस बयान के कई मायने निकाले जा रहे हैं. क्या है ट्रंप का प्लान? आइये जानते हैं.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप शपथ ग्रहण के बाद से ही एक्शन मोड में नजर आ रहे हैं. वह लगातार बड़े फैसले ले रहे हैं. खासकर चीन को लेकर ट्रंप और उनके मंत्री कड़े रुख अपनाए हुए हैं. हाल ही में ट्रंप ने कनाडा और मेक्सिको जैसे पड़ोसी देशों पर भारी टैक्स (टैरिफ) लगाकर हलचल मचा दी थी. अब उन्होंने पनामा नहर के संचालन का नियंत्रण अमेरिका को वापस देने की मांग की है और इस मामले में पड़ोसी देशों और सहयोगियों पर दबाव बढ़ा दिया है. ट्रंप ने इस बारे में कहा कि "कुछ बड़ा होने वाला है."
ट्रंप ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि पनामा नहर अब चीन चला रहा है, जबकि यह कभी चीन को नहीं दिया गया था. उन्होंने कहा कि चीन ने समझौते का उल्लंघन किया है और अब हम इसे वापस लेने जा रहे हैं. ट्रंप के इस बयान को चीन और पनामा जैसे देशों के लिए चेतावनी माना जा रहा है.
डोनाल्ड ट्रंप का विवादित बयान
ट्रंप ने कहा, "अमेरिका पनामा नहर को हर हालत में वापस लेकर रहेगा, और इसके लिए हम कुछ बड़ा कदम उठाने वाले हैं. पनामा को यह नहर बेवकूफी से दी गई थी, लेकिन अब चीन उसे चला रहा है, जो कि गलत है. अगर हम कानूनी और नैतिक दोनों पहलुओं पर विचार करें तो पनामा नहर को जल्द से जल्द अमेरिका को लौटाना चाहिए."
ट्रंप ने पनामा नहर पर दिया विवादित बयान
अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रूबियो ने पनामा को धमकी दी है कि अगर चीन का नियंत्रण जलमार्ग पर खत्म नहीं किया गया, तो वाशिंगटन जरूरी कदम उठाएगा. इसके बाद पनामा के राष्ट्रपति जोस राउल मुलिनो ने जवाब दिया कि पनामा आक्रमण से डरता नहीं है और दोनों देशों के बीच बातचीत के लिए तैयार है.
अमेरिका ने पनामा नहर की शुरुआत
अमेरिका ने पनामा नहर का निर्माण 1900 के दशक की शुरुआत में कराया था और इसे 1914 में खोला था. लंबे समय तक इसका नियंत्रण अमेरिका के पास था. 1977 में एक समझौते के तहत नहर पर पनामा और अमेरिका का संयुक्त नियंत्रण हुआ. फिर 1999 में यह पूरी तरह से पनामा को सौंप दी गई. इसके बाद से पनामा पर इसका नियंत्रण है.
चीन का पनामा में प्रभाव बढ़ा
पिछले कुछ सालों से चीन का पनामा में प्रभाव बढ़ गया है. पनामा ने ताइवान से अपने राजनयिक संबंध खत्म कर चीन से रिश्ते बनाए थे, और इसके बाद चीन ने पनामा में भारी निवेश किया है. ट्रंप और उनकी सरकार इस बदलाव का विरोध कर रही है. अमेरिकी विदेश मंत्री ने पनामा के अधिकारियों से इस मुद्दे पर बातचीत भी की है.


