PAK सेना के हाथ से निकला बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा, BLA ने किया कब्जा...पाकिस्तानी MP का संसद में संसद में बड़ा खुलासा
Khyber Pakhtunkhwa Unrest : पाकिस्तान के बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा में सरकार और सेना का नियंत्रण कमजोर हो गया है. विद्रोही गुटों ने कई इलाकों पर कब्जा कर रखा है. सीनेटर कामरान मुर्तजा ने संसद में स्वीकार किया कि इन प्रदेशों में सेना असहाय है और सुरक्षा व्यवस्था खतरे में है. बलूच लिबरेशन आर्मी समेत विद्रोही गुट सक्रिय हैं, जिन्होंने हाल ही में कई हमलों की जिम्मेदारी ली है, जिससे क्षेत्रीय अस्थिरता बढ़ी है.

Khyber Pakhtunkhwa Unrest : पाकिस्तान के बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा प्रांतों में देश की सरकार और सेना का प्रभाव लगातार कम हो रहा है. इन क्षेत्रों के कई हिस्सों में विद्रोही गुटों ने कब्जा जमा लिया है, जिन्हें पाकिस्तानी सुरक्षा बल नियंत्रित नहीं कर पा रहे हैं. यह स्थिति पाकिस्तान के सीनेटर कामरान मुर्तजा ने संसद में स्वीकार की है, जिससे पाकिस्तान की गंभीर आंतरिक सुरक्षा स्थिति उजागर हुई है.
कामरान मुर्तजा का संसद में बड़ा खुलासा
विद्रोहियों की बढ़ती ताकत और पाक सेना की असमर्थता
बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा में विद्रोह लंबे समय से चल रहा है, लेकिन हाल के वर्षों में विद्रोही गुटों की ताकत में उल्लेखनीय बढ़ोतरी हुई है. बलूच लिबरेशन आर्मी (बीएलए) जैसे सशस्त्र समूह स्थानीय अधिकारों की मांग कर रहे हैं और उन्होंने कई हमलों की जिम्मेदारी ली है. बीएलए ने हाल ही में पाकिस्तान सेना के 15 सैनिकों की हत्या की जिम्मेदारी स्वीकार की है. पाक सेना इन विद्रोहों को दबाने में असफल रही है, जिससे क्षेत्र की अस्थिरता और बढ़ गई है.
बलूचिस्तान की लंबित अस्थिरता और भविष्य की चुनौती
बलूचिस्तान में विद्रोह और अस्थिरता वर्षों से जारी है, जिससे न केवल क्षेत्रीय बल्कि पूरे पाकिस्तान की सुरक्षा स्थिति प्रभावित हो रही है. विद्रोहियों का कब्जा बढ़ने से न केवल सरकारी मशीनरी प्रभावित हुई है, बल्कि स्थानीय लोगों का जीवन भी दुष्कर हो गया है. पाकिस्तान सरकार और सेना के लिए यह चुनौती है कि वे किस प्रकार इन विद्रोही गुटों को नियंत्रित करें और स्थिरता लौटाएं.


