अमेरिका के 2028 राष्ट्रपति चुनाव पर डोनाल्ड ट्रंप का बयान, तीसरे कार्यकाल और उपराष्ट्रपति पद पर दी बड़ी प्रतिक्रिया
2028 के उपराष्ट्रपति पद को लेकर ट्रंप ने सोमवार को दिए बयान में साफ कहा कि वे इस पद की दौड़ में शामिल नहीं होंगे. उन्होंने कहा कि शायद मुझे इसकी अनुमति मिल सकती है, लेकिन मैं ऐसा नहीं करूंगा.

अमेरिका में 2028 के राष्ट्रपति चुनाव भले ही अभी दूर हों, लेकिन राजनीतिक हलचलें पहले से ही तेज हो गई हैं. इसी बीच डोनाल्ड ट्रंप ने अपने बयान से एक बार फिर सियासी बहस को हवा दे दी है. उन्होंने न केवल संभावित उम्मीदवारों पर अपनी राय दी, बल्कि खुद के उपराष्ट्रपति पद की संभावना को भी सिरे से खारिज कर दिया.
तीसरे कार्यकाल पर क्या बोले डोनाल्ड ट्रंप?
एक साक्षात्कार के दौरान जब ट्रंप से पूछा गया कि क्या वे तीसरे कार्यकाल की संभावना को पूरी तरह नकार रहे हैं तो उन्होंने मज़ाकिया लहजे में कहा कि क्या मैं इसे खारिज कर रहा हूं? शायद आपको ही बताना पड़ेगा. उन्होंने आगे कहा कि अगर संविधान अनुमति देता, तो वे तीसरे कार्यकाल के लिए चुनाव लड़ना पसंद करते, क्योंकि उनके अब तक के रिकॉर्ड बेहद शानदार रहे हैं.
ट्रंप ने इस दौरान रिपब्लिकन पार्टी के दो प्रमुख चेहरों उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और विदेश मंत्री मार्को रुबियो का नाम लेते हुए कहा कि ये दोनों नेता राष्ट्रपति पद के लिए बेहद मजबूत दावेदार हो सकते हैं. उन्होंने कहा कि वेंस और रुबियो दोनों ही बेहतरीन व्यक्तित्व हैं. अगर ये दोनों मिलकर काम करें तो इन्हें कोई नहीं रोक सकता.
2028 के उपराष्ट्रपति पद को लेकर ट्रंप ने सोमवार को दिए बयान में साफ कहा कि वे इस पद की दौड़ में शामिल नहीं होंगे. उन्होंने कहा कि शायद मुझे इसकी अनुमति मिल सकती है, लेकिन मैं ऐसा नहीं करूंगा. यह विचार भले मजेदार लगे, लेकिन यह सही नहीं होगा और लोगों को भी यह पसंद नहीं आएगा.
अमेरिका में कोई व्यक्ति दो बार से अधिक राष्ट्रपति पद पर नहीं रह सकता?
संविधान के संदर्भ में ट्रंप ने कहा कि अमेरिकी संविधान के 22वें संशोधन के अनुसार कोई भी व्यक्ति दो बार से अधिक राष्ट्रपति पद पर नहीं रह सकता. हालांकि, कुछ कानूनी विशेषज्ञों का मानना है कि एक ‘लूपहोल’ के जरिये ट्रंप उपराष्ट्रपति बन सकते हैं और बाद में राष्ट्रपति पद संभाल सकते हैं. इस पर ट्रंप ने हंसते हुए कहा कि यह विचार तो प्यारा है, लेकिन व्यवहारिक नहीं.
ट्रंप के इस बयान से 2028 के चुनावों को लेकर चर्चाएं और तेज हो गई हैं. राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि उनके शब्द न केवल भविष्य की रणनीति का संकेत देते हैं, बल्कि रिपब्लिकन पार्टी के अंदर नेतृत्व को लेकर नई बहस भी छेड़ सकते हैं.


