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मारा गया मोस्ट वांडेट आतंकी अबू कताल, 26/11 आतंकी हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद था करीबी, रियासी हमले का था सरगना

लश्कर-ए-तैयबा के मोस्ट वांडेट आतंकवादी अबू क़ताल की शनिवार रात पाकिस्तान में हत्या कर दी गई. आतंकवादी संगठन का प्रमुख आतंकवादी अबू कताल जम्मू-कश्मीर में कई हमलों की योजना बनाने के लिए जाना जाता था. अबू कताल 26/11 मुंबई आतंकी हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का करीबी था. उसने 9 जून को रियासी के शिव खोरी मंदिर से लौट रहे तीर्थयात्रियों की बस पर हुए हमले में अहम भूमिका निभाई थी.

Yaspal Singh
Edited By: Yaspal Singh

2008 के मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफ़िज सईद का करीबी कुख्यात आतंकवादी अबू कताल को पाकिस्तान में मार गिराया गया है. भारत को अस्थिर करने के उद्देश्य से किए गए कई आतंकी हमलों में अहम भूमिका निभाने वाला कताल, जम्मू-कश्मीर में 2017 के रियासी बम हमले सहित कई बड़े ऑपरेशन की योजना बनाई और उन्हें अजाम दिया. उसकी मौत पाकिस्तान से संचालित होने वाले आतंकी ढांचे के लिए एक बड़ा झटका है.

दो अज्ञात हमलावरों ने मारी गोली

रिपोर्टों के अनुसार, कताल दो अज्ञात हमलावरों ने उस समय गोली मार दी जब वह अपनी गाड़ी में यात्रा कर रहा था. पाकिस्तान में उसकी हत्या से भारतीय एजेंसियों की लंबे समय से चल रही तलाश खत्म हो गई है, जो वर्षों से उसकी गतिविधियों पर बारीकी से नज़र रख रही थी. वह विभिन्न आतंकवादी गतिविधियों में अपनी भूमिका के लिए भारत की मोस्ट वांटेड सूची में था.

रियासी हमले का था मास्टरमाइंड

कताल की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका 2017 में जम्मू-कश्मीर के रियासी में हुए बम हमले की योजना बनाने में थी, जिसमें निर्दोष नागरिकों को निशाना बनाया गया था. वह 9 जून 2023 को जम्मू के रियासी में शिव खोरी मंदिर के पास तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर हुए हमले का भी मास्टरमाइंड था, जिसमें कई लोग मारे गए थे, जम्मू-कश्मीर में शांति को भंग करने के उद्देश्य से आतंकवादी गतिविधियों में कताल की गहरी भागीदारी की एक क्रूर याद दिलाता है.

हाफिज ने दी थी बड़ी जिम्मेदारी

अबू कताल न केवल कई आतंकी गतिविधियों में शामिल था, बल्कि प्रतिबंधित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के प्रमुख हाफिज सईद का भरोसेमंद सहयोगी भी था. सईद ने कताल को लश्कर का चीफ ऑपरेशनल कमांडर नियुक्त किया था और उसे भारत, खासकर कश्मीर में बड़े आतंकी हमलों की योजना बनाने और उन्हें अंजाम देने की जिम्मेदारी दी थी.

राजौरी और डांगरी में भी हमलों को दिया अंजाम

रियासी बम हमले में अपनी भूमिका के अलावा कताल का संबंध जम्मू-कश्मीर के राजौरी और डांगरी में हुए घातक आतंकी हमलों से भी था, जो जनवरी 2023 में हुए थे. इन हमलों में बच्चों सहित आम नागरिकों को निशाना बनाया गया था और कई लोग हताहत हुए थे. 

एनआईए की चार्जशीट में था नाम

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने राजौरी हमलों में शामिल होने के लिए कताल का नाम चार्जशीट में शामिल किया. 1 जनवरी 2023 को डांगरी गांव में आम नागरिकों को निशाना बनाकर किए गए आतंकी हमले में दो बच्चों सहित सात लोगों की जान चली गई. इसके बाद हुए IED विस्फोट ने और तबाही मचाई, जिससे कई लोग घायल हो गए.

एनआईए की जांच से पता चला है कि कताल पाकिस्तान से जम्मू-कश्मीर में लश्कर के आतंकवादियों की भर्ती और आवाजाही में सीधे तौर पर शामिल था. उसके अभियानों का उद्देश्य क्षेत्र में अल्पसंख्यक समुदायों और सुरक्षा कर्मियों को निशाना बनाना था, जिससे अशांत क्षेत्र में हिंसा का चक्र और भी तेज हो गया.

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16 March 2025, 08:07 AM IST

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