ट्रंप की बात से असहज हुए पीएम मोदी, अमेरिका से बिगड़े रिश्तों पर बड़ा खुलासा
भारत और अमेरिका के बीच हाल ही में संबंधों में तनाव देखने को मिला है, जिसका मुख्य कारण राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत पर लगाए गए 50 प्रतिशत टैरिफ को माना जा रहा है.

India America relations: भारत और अमेरिका के बीच हाल ही में संबंधों में तनाव देखने को मिला है, जिसका मुख्य कारण राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत पर लगाए गए 50 प्रतिशत टैरिफ को माना जा रहा है. हालांकि, यह दूरी अचानक नहीं आई, बल्कि इसके पीछे कई राजनीतिक और कूटनीतिक घटनाक्रम रहे हैं.
लंबे समय से डोनाल्ड ट्रंप का दावा
ट्रंप लंबे समय से दावा करते रहे हैं कि उन्होंने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच मध्यस्थता की थी, जिसे भारत ने हमेशा खारिज किया. वहीं, जब पाकिस्तान ने ट्रंप को नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामांकित किया, तो अमेरिकी राष्ट्रपति को भारत से भी वैसी ही उम्मीद थी.
पीएम मोदी और ट्रंप के बीच तनाव की शुरुआत
एक रिपोर्ट के अनुसार, 17 जून 2025 को ट्रंप ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फोन किया. बातचीत लगभग 35 मिनट चली, जिसमें ट्रंप ने मोदी से उन्हें नोबेल पुरस्कार के लिए नामांकित करने का अनुरोध किया.
असहज हुए पीएम मोदी
ट्रंप ने यह भी कहा कि पाकिस्तान उन्हें नोबेल के लिए नॉमिनेट करने वाला है. पीएम मोदी इस बात से असहज हो गए और उन्होंने स्पष्ट कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर समझौता द्विपक्षीय है, इसमें अमेरिका की कोई भूमिका नहीं है.
मोदी के रुख से ट्रंप नाराज़
मोदी के इस रुख से ट्रंप नाराज़ हो गए. रिपोर्ट के अनुसार, ट्रंप ने प्रधानमंत्री की बातों को नज़रअंदाज़ किया, लेकिन नोबेल नॉमिनेशन न मिलने की वजह से उनके मन में नाराजगी घर कर गई.
टैरिफ का झटका और बातचीत बंद
पीएम मोदी से इस बातचीत के कुछ ही हफ्तों बाद ट्रंप ने भारत पर 25 प्रतिशत टैरिफ लगाने की घोषणा की. इसके बाद, भारत द्वारा रूसी तेल की खरीद को लेकर एक और 25 प्रतिशत का शुल्क जोड़ा गया, जिससे कुल टैरिफ 50 प्रतिशत तक पहुंच गया. रिपोर्ट बताती है कि 17 जून के बाद दोनों नेताओं के बीच कोई संवाद नहीं हुआ है.
भारत-अमेरिका के रणनीतिक और व्यापारिक रिश्तों में दरार
इस घटनाक्रम ने भारत-अमेरिका के रणनीतिक और व्यापारिक रिश्तों में एक नई दरार पैदा कर दी है, जो जल्द सुलझती नजर नहीं आ रही.


