Bangladesh Violence: बांग्लादेश में फिर दंगे! मुजीबुर रहमान के घर को किया आग के हवाले, अब क्या है वजह?
भारत के पड़ोसी देश बांग्लादेश में कुछ भी ठीक नहीं चल रहा है. बीते कुछ महीनों स्थिति इस कदर बिगड़ चुकी है कि जिस शेख मुजीबुर्रहमान ने कभी बांग्लादेश को आजादी दिलाई थी आज उन्हीं के घर को प्रर्शनकारियों ने आग के हवाले कर दिया है.

बांग्लादेश में एक बार फिर तनाव पैदा हो गया है. 6 फरवरी को अवामी लीग के राष्ट्रव्यापी विरोध प्रदर्शन से पहले राजधानी ढाका सहित बांग्लादेश के कई शहरों में हिंसा भड़क उठी है. प्रदर्शनकारियों ने ढाका के धानमंडी इलाके में शेख मुजीबुर रहमान के घर पर हमला किया है. हमलावर बुलडोजर लेकर आये थे. उन्होंने शेख मुजीबुर रहमान का घर जला दिया. हजारों अवामी लीग समर्थकों, कार्यकर्ताओं और नेताओं को गिरफ्तार किया गया है. 6 फरवरी को शेख हसीना की अवामी लीग ने अपने कार्यकर्ताओं और नेताओं से सड़कों पर उतरने का आह्वान किया था.
अवामी लीग ने गुरुवार को बांग्लादेश में परिवहन व्यवस्था बंद करने और राजमार्गों सहित कई शहरों में जाम लगाने की तैयारी की थी. अवामी लीग ने अपने नेताओं और कार्यकर्ताओं के खिलाफ जारी हिंसा के खिलाफ बड़े प्रदर्शन का आह्वान किया था. अवामी लीग के प्रदर्शन से ठीक एक दिन पहले बांग्लादेश में स्थिति गंभीर हो गई है. ढाका ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, असामाजिक तत्वों ने गेट तोड़ दिया और जबरन शेख मुजीबुर रहमान के घर में घुस गए. विरोध प्रदर्शन की शुरुआत पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के ऑनलाइन भाषण से हुई.
मुख्य द्वार तोड़कर अंदर घुसना
प्रदर्शनकारियों ने शेख हसीना के भाषण के खिलाफ धानमंडी 32 पर बुलडोजर मार्च की घोषणा की. उन्होंने पहले तो रात 9 बजे घर को बुलडोजर से गिराने की धमकी दी. लेकिन प्रदर्शनकारियों ने अपनी योजना बदल दी और सुबह 8 बजे बुलडोजर लेकर आ गए. उन्होंने इस आंदोलन को एक रैली का रूप दे दिया था. वहाँ बहुत बड़ी भीड़ थी. वे मुख्य द्वार तोड़कर अंदर घुस आए और व्यापक तोड़फोड़ की.
संपत्ति को भारी नुकसान
प्रदर्शन के दौरान शेख हसीना को फांसी देने की मांग की गई. कई हमलावर घर की दूसरी मंजिल पर चढ़ गए. उन्होंने बांग्लादेश के संस्थापकों की तस्वीरें और अन्य सामान तोड़-फोड़ दिया. बताया जा रहा है कि इस हमले में संपत्ति को भारी नुकसान हुआ है. इससे पहले छात्र आंदोलन के आयोजक हसनत अब्दुल्ला ने फेसबुक पर पोस्ट कर कहा था कि आज रात बांग्लादेश की धरती फासीवाद से मुक्त हो जाएगी.


