सनातन धर्म के पक्ष में तुलसी गाबार्ड का बयान, डेमोक्रेटिक सांसदों पर लगाया गंभीर आरोप
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की कैबिनेट में राष्ट्रीय खुफिया निदेशक के लिए नामित तुलसी गाबार्ड ने डेमोक्रेटिक सांसदों पर हिंदू धर्म के खिलाफ कट्टरता फैलाने का गंभीर आरोप लगाया है. भारतीय मूल की नेता गाबार्ड ने कहा कि डेमोक्रेटिक पार्टी हिंदुओं और हिंदू धर्म के खिलाफ धार्मिक कट्टरता को बढ़ावा दे रही है.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की कैबिनेट में राष्ट्रीय खुफिया निदेशक के पद के लिए नामित भारतीय मूल की नेता तुलसी गाबार्ड ने हाल ही में सनातन धर्म का समर्थन किया और डेमोक्रेटिक सांसदों पर हिंदुओं और हिंदू धर्म के खिलाफ धार्मिक कट्टरता फैलाने का आरोप लगाया है. उन्होंने अपने बयान में कहा कि डेमोक्रेटिक पार्टी हिंदुओं के खिलाफ कट्टरता को बढ़ावा दे रही है, और यह एक गंभीर चिंता का विषय है.
डेमोक्रेटिक पार्टी पर कट्टरता फैलाने का आरोप
तुलसी गाबार्ड ने कहा, "अतीत में डेमोक्रेट सांसदों ने राष्ट्रपति ट्रंप के न्यायिक उम्मीदवारों जैसे एमी कोनी बैरेट और ब्रायन ब्यूशर के खिलाफ ईसाई विरोधी कट्टरता का सहारा लिया था." उन्होंने इस बात की निंदा की कि धार्मिक कट्टरता चाहे किसी भी धर्म से संबंधित हो, इसे हम सभी को पूरी तरह से नकारना चाहिए. तुलसी ने इस मुद्दे पर अपनी पूरी स्पष्टता दिखाई और कहा कि धार्मिक कट्टरता को बढ़ावा देने वाले किसी भी कार्य की आलोचना करनी चाहिए.
भारत के खिलाफ आरोपों पर तुलसी का सधी हुई प्रतिक्रिया
भारत के खिलाफ उठाए गए सवालों पर तुलसी गाबार्ड ने अपने जवाब में पूरी सूझबूझ दिखाई. एक संघीय अभियोग के दौरान, जब भारत के खिलाफ कथित आरोपों पर सवाल उठाए गए, तो उन्होंने कहा, "किसी विदेशी राष्ट्र द्वारा अमेरिकियों की हत्याओं का निर्देश देना गंभीर चिंता का विषय है और इसकी जांच होनी चाहिए." इसके साथ ही, उन्होंने यह भी कहा कि भारत अमेरिका का एक अहम साझेदार है और यदि कोई आरोप लगता है, तो इसकी जांच होनी चाहिए.
भारत-अमेरिका संबंधों पर तुलसी का अहम बयान
तुलसी गाबार्ड ने आगे कहा, "भारत हिंद-प्रशांत क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण आर्थिक और सुरक्षा साझेदार है. अगर कोई आरोप लगाए गए हैं तो उनकी जांच होनी चाहिए. जांच के परिणामों और खुफिया जानकारी को राष्ट्रपति और नीति निर्माताओं को प्रदान किया जाना चाहिए ताकि वे कथित घटनाओं और द्विपक्षीय संबंधों के लिए सर्वोत्तम निर्णय ले सकें."
आपको बता दें कि तुलसी गाबार्ड ने एक बार फिर साबित किया कि वह एक न केवल भारतीय-अमेरिकी नेता हैं, बल्कि उन्होंने अपने बयान से यह भी दर्शाया कि वह विश्व राजनीति और भारत-अमेरिका संबंधों पर पैनी नजर रखती हैं. उनकी प्रतिक्रियाएं स्पष्ट और संतुलित रही हैं, जो उनकी राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय राजनीतिक समझ को दर्शाती हैं.


