महाराष्ट्र सरकार में सब कुछ सही नहीं! आखिर क्यों नाराज हैं अजित पवार
Maharashtra News: महाराष्ट्र में कुछ महीने बाद होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राज्य में सियासी उथल-पुथल जारी है. ऐसे में महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री और एनसीपी चीफ अजित पवार अपनी ही सरकार से नाराज हो गए हैं. इस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को गठबंधन धर्म निभाने की नसीहत दी है. इस बीच उनकी नाराजगी की चर्चा सियासी गलियारों में भी देखी जा रही है.

Maharashtra News: महाराष्ट्र में कुछ महीने बाद विधानसभा चुनाव होने हैं. इस बीच राज्य में सियासी उथल-पुथल देखने को मिली रही है. ऐसे में महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) चीफ अजित पवार अपनी ही सरकार से नाराज हो गए हैं. इस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को गठबंधन धर्म निभाने की नसीहत दी है और याद दिलाया है कि उनकी पार्टी भी उनकी सरकार में सहयोगी है. इस बीच राज्य की सियासी गलियारों में उनकी सरकार के प्रति नाराजगी को लेकर तरह तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, एक कार मैन्युफैक्चरिंग प्रोजेक्ट के लिए टोयोटा किर्लोस्कर और महाराष्ट्र सरकार के बीच एमओयू पर हस्ताक्षर होना था. इस दौरान उप मुख्यमंत्री अजित पवार को आमंत्रित नहीं किया गया. इससे पवार नाराज हो गए और उन्होंने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को फोन कर अपनी नाराजगी जाहिर की.
इस लिए नाराज हैं अजित पवार
अजित पवार ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को नसीहत देते हुए कहा कि आप गठबंधन धर्म का पालन करें. इसके साथ ही उन्होंने महायुति सरकार में उनकी पार्टी एनसीपी भी शामिल यह भी याद दिलाया. समारोह में राज्य के उद्योग मंत्री उदय सामंत को भी नहीं बुलाया गया था. सामंत भी एनसीपी के नेता हैं. बता दें, कि यह हस्ताक्षर समारोह मालाबार हिल स्थित राज्य अतिथि गृह सह्याद्री में आयोजित किया गया था. इस बीच अजित पवार और उदय सामंत दोनों समारोह स्थल की शोभा बढ़ाने खुद ही पहुंच गए थे.
इस बीच एनसीपी के सूत्रों के अनुसार, जिस समय समारोह शुरू हो रहा था, उस समय अजित पवार और उदय सामंत उद्योग विभाग से संबंधित अहम मुद्दों की समीक्षा में बिजी थे. जब इस समीक्षा बैठक में उद्योग विभाग के बड़े अधिकारी और महाराष्ट्र औद्योगिक विकास निगम के अधिकारी नहीं दिखे तो पवार ने इस पर नाराजगी जाहिर की और पूछा कि ये अधिकारी क्यों नहीं आए? इस पर विभाग के जूनियर अफसरों ने बताया कि सीनियर अफसर सहयाद्री गेस्ट हाउस गए हुए हैं, जहां एमओयू हस्ताक्षर होने हैं.
न्योता न मिलने पर भड़के अजित पवार
इस दौरान अजित पवार ने उद्योग मंत्री सामंत से पूछा कि विभागीय मंत्री होने के नाते आप वहां क्यों नहीं गए तो सामंत ने समारोह की जानकारी होने और न्योता न मिलने की बात कही. इस पर अजित पवार भड़क गए और उन्होंने वहीं से मुख्यमंत्री शिंदे को फोन मिला दिया और कहा कि यह गठबंधन सरकार है लेकिन ना तो उन्हें और ना ही उद्योग मंत्री को इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में बुलाया गया. एनसीपी के नेताओं को इससे दूर रखा गया, जबकि गठबंधन सरकार में एनसीपी भी सहयोगी है.
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, इस पर सीएम शिंदे ने आश्चर्य जताते अपने उप मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया कि जब तक दोनों वहां नहीं आ जाते तब तक कार्यक्रम जारी रहेगा. इसके बाद पवार और सामंत समीक्षा बैठक छोड़कर सह्याद्रि पहुंचे. ऐसे में राजनीतिक जानकारों का मानना है कि यह घटना इस बात को उजागर करती है कि सत्ताधारी गठबंधन में सहयोगी दलों के बीच सब कुछ सही नहीं चल रहा है.