घर तक चाहिए रास्ता...पत्नी को पीठ पर बिठाकर DM ऑफिस पहुंचा दिव्यांग, जानें क्या बोले अफसर
उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ के विकलांग दंपति अशोक कुमार और उनकी पत्नी सड़क के अभाव में परेशान हैं. पीठ पर पत्नी को लेकर डीएम ऑफिस पहुंचे अशोक ने ज्ञापन देकर रास्ता बनवाने की मांग की. प्रशासन ने चकबंदी के दौरान समाधान का आश्वासन दिया है.

उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जिले के कुंजी गांव में रहने वाले अशोक कुमार और उनकी पत्नी दोनों विकलांग हैं. इनकी तकलीफें तब और बढ़ गईं जब उनके घर तक जाने वाला रास्ता पूरी तरह गायब हो गया. अशोक कुमार बताते हैं कि अब उन्हें समझ नहीं आ रहा कि वे अपने ही घर से बाहर कैसे निकलें. बरसात में रास्ता पूरी तरह जलमग्न हो जाता है, जिससे स्थिति और भी गंभीर हो गई है.
डीएम ऑफिस तक पीठ पर पत्नी को लेकर पहुंचे
इस मुद्दे को लेकर अशोक कुमार ने अपनी पत्नी के साथ जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचने का निर्णय लिया. वायरल हुए वीडियो में देखा जा सकता है कि अशोक कुमार अपनी विकलांग पत्नी को पीठ पर बिठाकर घसीटते हुए डीएम ऑफिस पहुंचे. उनका व्हीलचेयर तो था, लेकिन उसकी बैटरी खत्म हो चुकी थी, जिससे उन्हें यह दर्दनाक तरीका अपनाना पड़ा. वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होते ही लोगों की भावनाएं उमड़ पड़ीं और प्रशासन की लापरवाही पर सवाल खड़े होने लगे.
रास्ता निकलवाने की जद्दोजहद
अशोक कुमार ने बताया कि उनके घर से मुख्य सड़क की दूरी लगभग 30 मीटर है. उन्होंने पहले निजी खर्च से ₹10,000 खर्च करके एक रास्ता बनवाया था, लेकिन बाद में किसी ने मुकदमा कर उसे बंद करवा दिया. चकबंदी के कागजों में यह रास्ता दर्ज नहीं था. इसी वजह से वे अब चाहते हैं कि वर्तमान में चल रही चकबंदी प्रक्रिया के दौरान ही उनके घर तक एक वैध रास्ता तय किया जाए.
सुनवाई नहीं होने से नाराज़ पीड़ित
अशोक कुमार का कहना है कि उन्होंने पहले भी कई बार आवेदन दिया लेकिन उनकी सुनवाई नहीं हुई. इस बार वे अपनी पत्नी को लेकर खुद ज्ञापन देने पहुंचे, ताकि अधिकारी उनकी हालत को देखकर समस्या को गंभीरता से लें.
प्रशासन का जवाब
इस मामले पर प्रतिक्रिया देते हुए मुख्य राजस्व अधिकारी संजीव ओझा ने कहा कि पीड़ित द्वारा दी गई अर्जी के अनुसार यह स्पष्ट है कि उन्हें अपने घर के सामने से रास्ता चाहिए. चकबंदी की प्रक्रिया अभी चल रही है, और यह प्रयास किया जाएगा कि उसी के दौरान उनके घर तक उचित रास्ता निकाला जाए. डीएम कार्यालय से इस आश्वासन के बाद दंपति अपने घर लौट गया.


