'PoK को खाली करे पाकिस्तान, जम्मू-कश्मीर पर किसी का दखल मंजूर नहीं', विदेश मंत्रालय का Pak को सख्त संदेश
भारत सरकार ने पाकिस्तान से पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) खाली करने और जम्मू-कश्मीर के मसले पर किसी भी बाहरी हस्तक्षेप को नकारने का स्पष्ट बयान दिया है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने बताया कि जम्मू-कश्मीर से जुड़े सभी मुद्दे भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय बातचीत से हल होने चाहिए. भारत ने अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप की मध्यस्थता की पेशकश को अस्वीकार किया और पाकिस्तान से आतंकवाद को बढ़ावा देने वाली नीतियों को बंद करने का आह्वान किया.

भारत सरकार ने मंगलवार को स्पष्ट रूप से कहा कि पाकिस्तान को पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) को खाली करना होगा और जम्मू-कश्मीर के मसले पर किसी भी बाहरी हस्तक्षेप को अस्वीकार किया जाएगा. यह बयान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा जम्मू-कश्मीर के संदर्भ में दिए गए बयान के बाद आया है. भारत सरकार ने इसे लेकर अपनी पुरानी नीति को फिर से स्पष्ट किया और पाकिस्तान से आग्रह किया कि वह जम्मू और कश्मीर के मामले में किसी भी बाहरी दखल को खत्म करे.
भारत का स्पष्ट रुख
भारत सरकार के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि भारत का यह राष्ट्रीय रुख लंबे समय से स्पष्ट रहा है कि जम्मू और कश्मीर से जुड़े सभी मुद्दों का समाधान भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय बातचीत के जरिए ही हो सकता है. उन्होंने यह भी कहा कि इस मामले में भारत की नीति में कोई बदलाव नहीं आया है और यह नीति निरंतर बनी हुई है. भारतीय विदेश मंत्रालय ने स्पष्ट किया कि जम्मू और कश्मीर का मुद्दा भारत का आंतरिक मामला है, और पाकिस्तान को PoK से अपने सभी सैन्य बलों और कब्जे को खत्म करना होगा.
PoK पर पाकिस्तान का अवैध कब्जा
रणधीर जायसवाल ने यह भी कहा कि भारत की नीति के अनुसार, जम्मू और कश्मीर से संबंधित कोई भी मुद्दा द्विपक्षीय बातचीत से हल होना चाहिए. उनका कहना था कि पाकिस्तान द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए भारतीय क्षेत्र (PoK) को खाली करना एक लंबित मामला है और पाकिस्तान को इसे तुरंत खाली करना चाहिए. भारत ने यह भी कहा कि पाकिस्तान को अपनी आंतरिक और बाहरी सुरक्षा स्थितियों का सामना करने के बजाय, भारतीय क्षेत्र पर कब्जे का प्रयास बंद करना चाहिए.
ट्रंप के बयान पर भारत का रुख
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में जम्मू और कश्मीर को लेकर एक बयान दिया था, जिसमें उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच इस मुद्दे पर मध्यस्थता की पेशकश की थी. हालांकि, भारत ने ट्रंप के इस बयान का स्वागत करते हुए स्पष्ट किया कि जम्मू और कश्मीर पर किसी भी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता को स्वीकार नहीं किया जाएगा. भारत ने हमेशा से ही यह रुख अपनाया है कि जम्मू और कश्मीर भारत का अभिन्न हिस्सा है और इस मामले में किसी भी तरह के बाहरी दखल को नकारा जाता है.
पाकिस्तान के खिलाफ सख्त रुख
भारत ने पाकिस्तान से यह भी कहा कि उसे कश्मीर में आतंकवाद को बढ़ावा देने की अपनी नीतियों को बंद करना चाहिए. पाकिस्तान को अपनी भूमिका को सही करना होगा और कश्मीर में स्थायित्व लाने के लिए कड़े कदम उठाने होंगे. भारत ने पाकिस्तान से आग्रह किया कि वह कश्मीर से संबंधित अपने नापाक प्रयासों को तुरंत बंद करे.


