गृह मंत्रालय ने घटाई आतिशी की सुरक्षा, अब Z की जगह मिलेगी Y केटेगरी की सिक्योरिटी
गृह मंत्रालय ने पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी की 'जेड' श्रेणी सुरक्षा के बारे में भी अलग से पूछा था. केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों ने आतिशी की खतरे की समीक्षा की, जिसके बाद यह निष्कर्ष निकला कि कोई नया या महत्वपूर्ण खतरा नहीं है जिसके लिए 'जेड' श्रेणी की सुरक्षा जारी रखना आवश्यक हो.

आम आदमी पार्टी की नेता और दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी की सुरक्षा में बड़ी कटौती की गई है. गृह मंत्रालय ने अब आतिशी की सुरक्षा 'जेड' श्रेणी से घटाकर 'वाई' कर दिया है. यह घटनाक्रम ऐसे समय में हुआ है जब दिल्ली पुलिस की सुरक्षा इकाई ने गृह मंत्रालय से पूछा था कि क्या आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल की 'जेड प्लस' सुरक्षा जारी रखी जानी चाहिए या इसमें कटौती की जानी चाहिए.
गृह मंत्रालय ने किया सिक्योरिटी रिव्यू
गृह मंत्रालय ने पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी की 'जेड' श्रेणी सुरक्षा के बारे में भी अलग से पूछा था. केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों ने आतिशी की खतरे की समीक्षा की, जिसके बाद यह निष्कर्ष निकला कि कोई नया या महत्वपूर्ण खतरा नहीं है जिसके लिए 'जेड' श्रेणी की सुरक्षा जारी रखना आवश्यक हो.
पुलिस के एक सूत्र ने बताया कि यह निर्देश हाल ही में जारी किया गया था, जब दिल्ली पुलिस की सुरक्षा इकाई ने आतिशी के सुरक्षा कवर की स्थिति पर गृह मंत्रालय से परामर्श मांगा था. आपको बता दें कि जब आतिशी दिल्ली की मुख्यमंत्री बनीं थी, तब उन्हें 'जेड' केटेगरी की सुरक्षा दी गई थी. हालांकि, शुरूआत में आप नेता अरविंद केजरीवाल और आतिशी दोनों की सुरक्षा में कोई भी बदलाव न करने की सिफारिश की थी, लेकिन बाद में उसने दिल्ली पुलिस को आतिशी की सुरक्षा को घटाकर 'वाई' श्रेणी का करने का निर्देश दिया.
दो कमांडो समेत 12 कर्मी करेंगे सुरक्षा
'वाई'केटेगरी सुरक्षा प्रोटोकॉल के तहत आतिशी की सुरक्षा में अब दिल्ली पुलिस के दो कमांडो सहित लगभग 12 कर्मियों की एक टीम करेगी. सुरक्षा में कटौती का मतलब कुछ विशेषाधिकारों को खत्म करना भी है, जैसे कि पायलट वाहन जो उनके काफिले के साथ चलता था, जब आतिशी कुछ समय के लिए मुख्यमंत्री पद पर थीं.
इन नेताओं की हट सकती है सुरक्षा
पिछले महीने दिल्ली पुलिस ने दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, आप विधायक अजय दत्त और दिल्ली के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष राम निवास गोयल को दी गई 'वाई' श्रेणी की सुरक्षा वापस लेने का प्रस्ताव रखा था. बता दें कि राजनीतिक नेताओं के लिए सुरक्षा गृह मंत्रालय के निर्देश पर केंद्रीय खुफिया और सुरक्षा एजेंसियों द्वारा समय-समय पर किए गए खतरे के आकलन के आधार पर दी जाती है.
आपको बता दें कि 5 फरवरी को दिल्ली चुनाव में आम आदमी पार्टी की हार के बाद आप विधायकों द्वारा विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद आतिशी को विधानसभा में विपक्ष का नेता चुना गया था.


