SIR के लिए 1000 बाहरी लोगों की क्या जरूरत...CM ममता बनर्जी ने CEC को एक सप्ताह में दूसरी बार पत्र लिखा पत्र
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार को पत्र लिखकर SIR से जुड़े डेटा एंट्री कर्मचारियों और निजी आवासीय परिसरों में मतदान केंद्र स्थापित करने के प्रस्ताव पर तुरंत हस्तक्षेप की मांग की.

बंगाल : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने मुख्य चुनाव आयुक्त (CEC) ज्ञानेश कुमार को एक सप्ताह में दूसरी बार पत्र लिखा है. इस पत्र में उन्होंने राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी द्वारा जिला निर्वाचन अधिकारियों को दिए गए निर्देशों और निजी आवासीय परिसरों में मतदान केंद्र स्थापित करने के प्रस्ताव पर तत्काल हस्तक्षेप की मांग की है.
SIR और डेटा एंट्री कर्मचारियों का मुद्दा
राजनीतिक दलों के प्रभाव पर चिंता
मुख्यमंत्री ने पत्र में यह भी सवाल उठाया कि क्या यह कदम किसी राजनीतिक दल, विशेषकर भाजपा, की मदद के लिए उठाया जा रहा है. उन्होंने लिखा कि क्षेत्रीय कार्यालय हमेशा अपनी आवश्यकतानुसार संविदात्मक डेटा एंट्री कर्मचारियों की नियुक्ति करते रहे हैं और जिला अधिकारी स्वयं ऐसी नियुक्तियों के लिए सक्षम हैं. उन्होंने आरएफपी (RFP) जारी करने के समय और तरीके पर भी संदेह जताया.
निजी आवासीय परिसरों में मतदान केंद्र पर आपत्ति
ममता बनर्जी ने निजी आवासीय परिसरों में मतदान केंद्र स्थापित करने के कथित प्रस्ताव पर भी आपत्ति जताई. उनका कहना था कि ऐसे स्थान मतदान प्रक्रिया की निष्पक्षता को प्रभावित करते हैं और नागरिकों के बीच भेदभाव उत्पन्न कर सकते हैं. उन्होंने जोर देकर कहा कि मतदान केंद्र हमेशा सरकारी या अर्ध-सरकारी संस्थानों में ही स्थापित होने चाहिए ताकि सुगमता और निष्पक्षता बनी रहे.
निर्वाचन आयोग की गरिमा और निष्पक्षता
मुख्यमंत्री ने अंतिम में चुनाव आयोग से आग्रह किया कि इस मामले की गंभीरता, निष्पक्षता और पारदर्शिता के साथ जांच की जाए. उन्होंने आयोग की गरिमा और विश्वसनीयता बनाए रखने पर जोर दिया और कहा कि किसी भी परिस्थिति में इसे पक्षपात या दबाव से मुक्त रखा जाना चाहिए.


