अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने डोनाल्ड ट्रंप को दी बड़ी राहत, निचली कोर्ट के आदेश पर लगाई रोक, नहीं जारी होगा विदेशी फंड
अमेरिका के सुप्रीम कोर्ट ने डोनाल्ड ट्रंप को बड़ी राहत दी है. शीर्ष अदालत ने निचली अदालत के उस आदेश पर रोक लगा दी है, जिसमें ट्रंप सरकार को विदेशी फंड जारी करने को कहा गया था. चीफ जस्टिस जॉन रॉबर्ट्स ने कहा कि ‘यू.एस. डिस्ट्रिक्ट जज’ आमिर एच. अली द्वारा जारी आदेश पर तब तक रोक रहेगी जब तक कि हाईकोर्ट इस पर पूरी तरह से विचार नहीं कर लेता.

अमेरिका के सुप्रीम कोर्ट ने निचली अदालत के आदेश पर रोक लगा दी है. दरअसल, निचली अदालत ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को अन्य देशों के लिए अरबों डॉलर की अमेरिकी सहायता जारी करने का निर्देश दिया गया था, जिसे शीर्ष अदालत में चुनौती दी गई. चीफ जस्टिस जॉन रॉबर्ट्स ने कहा कि ‘यू.एस. डिस्ट्रिक्ट जज’ आमिर एच. अली द्वारा जारी आदेश पर तब तक रोक रहेगी जब तक कि हाईकोर्ट इस पर पूरी तरह से विचार नहीं कर लेता.
अली ने ट्रंप सरकार को विदेशी सहायता पर अस्थायी रोक लगाने के उनके फैसले का अनुपालन करने का आदेश दिया था. यह फैसला गैर-लाभकारी समूहों और व्यवसायों द्वारा दायर मुकदमे में सुनाया गया था. एक अपीली पैनल ने हस्तक्षेप करने के प्रशासन के अनुरोध को अस्वीकार कर दिया था. ट्रंप के एक कार्यकारी आदेश के बाद विदेशी सहायता पर रोक लगा दी थी, जिसमें उन कार्यक्रमों को निशाना बनाया था जो ट्रंप के अनुसार ‘बेकार हैं और अमेरिका की विदेश नीति के लक्ष्यों के अनुरूप नहीं हैं.’
विदेशी सहायता रोक पर कानूनी लड़ाई
यह मामला गैर-लाभकारी संगठनों और व्यवसायों द्वारा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कार्यकारी आदेश को चुनौती देने वाले मुकदमे से उत्पन्न हुआ है, जिसने विदेशी सहायता के फंडिंग को रोक दिया था, जिसे बेकार या उनके प्रशासन की विदेश नीति के उद्देश्यों के साथ गलत माना गया था.
जज अली ने वादी के पक्ष में फैसला सुनाया था, तथा ट्रंप सरकार को धनराशि जारी करने का आदेश दिया था. हालांकि, अपीलीय पैनल द्वारा हस्तक्षेप करने से इनकार करने के बाद ट्रंप प्रशासन ने सर्वोच्च अदालत में अपील की, जिसमें तर्क दिया गया कि कार्यकारी शाखा के पास विदेशी सहायता व्यय पर व्यापक विवेकाधिकार है.
आगे क्या होगा?
निचली अदालत के आदेश को अस्थायी रूप से रोकने के सुप्रीम कोर्ट के फैसले से मामला सुलझता नहीं है, लेकिन यह संकेत देता है कि जज व्यापक कानूनी विवाद पर विचार कर सकते हैं. इस फैसले का विदेशी सहायता और सरकारी धन के वितरण पर राष्ट्रपति के अधिकार पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ सकता है. फिलहाल, ट्रंप प्रशासन ने आगे की कानूनी कार्यवाही लंबित रहने तक अरबों डॉलर की विदेशी सहायता जारी करने में रोक जारी रहेगी.


