बांग्लादेश में बवाल! नई सेवा कानून पर हंगामा जारी, आखिर क्यों भड़के सरकारी कर्मचारी?
Bangladesh: बांग्लादेश में हाल ही में लागू किए गए नए पब्लिक सर्विस (अमेंडमेंट) ऑर्डिनेंस, 2025 के खिलाफ सरकारी कर्मचारियों का विरोध तेज हो गया है. इस कानून के तहत कर्मचारियों को बिना उचित प्रक्रिया के नौकरी से निकाले जाने का अधिकार सरकार को मिल गया है, जिससे कर्मचारियों में असंतोष और भय का माहौल बना हुआ है.

Bangladesh: बांग्लादेश में सरकारी कर्मचारियों के विरोध का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. हाल ही में जारी किए गए 'पब्लिक सर्विस (अमेंडमेंट) ऑर्डिनेंस, 2025' ने पूरे देश में हंगामा मचाया हुआ है. इस नए कानून के तहत सरकार को कर्मचारियों को बिना किसी उचित प्रक्रिया के नौकरी से निकालने का अधिकार मिल गया है, जिससे सरकारी कर्मचारियों में डर और असंतोष फैल गया है. मंगलवार को बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने इन प्रदर्शनों को दबाने के लिए पैरामिलिट्री बलों को तैनात कर दिया. विरोध अब अपने चौथे दिन में प्रवेश कर चुका है, और बांग्लादेश के विभिन्न हिस्सों से प्रदर्शनकारी राजधानी ढाका की सड़कों पर उतरे हैं.
सरकारी कर्मचारी इस नए कानून का विरोध कर रहे हैं, जिसमें उन्हें बिना किसी उचित जांच या सुनवाई के नौकरी से निकालने का अधिकार सरकार को मिल गया है. कर्मचारियों का कहना है कि यह कानून उनके मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करता है और सरकार को अत्यधिक शक्तियां प्रदान करता है, जिससे कर्मचारी किसी भी समय बिना कारण के नौकरी से निकाल दिए जा सकते हैं. इस कानून को लेकर चल रहे विरोध ने बांग्लादेश में राजनीतिक अस्थिरता को और बढ़ा दिया है.
नई सेवा कानून में क्या हैं बदलाव?
बिना प्रक्रिया के नौकरी से निकालने का अधिकार
पब्लिक सर्विस (अमेंडमेंट) ऑर्डिनेंस, 2025 के अनुसार, अब सरकार को कर्मचारियों को बिना किसी औपचारिक विभागीय जांच या सुनवाई के नौकरी से निकालने का अधिकार मिल गया है. सरकार इस प्रक्रिया को केवल एक शो-कॉज नोटिस के जरिए लागू कर सकती है. इससे कर्मचारियों को अपने बचाव का मौका भी नहीं मिलेगा, जो कि पारंपरिक सुरक्षा उपायों के खिलाफ है.
कार्यकारी नियंत्रण में वृद्धि
नए नियमों के तहत मंत्रियों और अन्य कार्यकारी अधिकारियों को नागरिक सेवकों के कार्यों पर अधिक निगरानी और नियंत्रण रखने का अधिकार मिल गया है. इससे कर्मचारियों की स्वतंत्रता में भारी कटौती हो सकती है.
कर्मचारी अधिकारों में कटौती
इस नए कानून के तहत, सरकारी कर्मचारियों के अधिकारों में भी कमी आई है. कर्मचारियों को अब अनुशासनात्मक कार्रवाई के खिलाफ अपील करने का अधिकार नहीं होगा और वे किसी यूनियन या सामूहिक सौदेबाजी में भाग नहीं ले सकेंगे. इससे उनके अधिकारों की रक्षा कमजोर हो गई है.
कर्मचारी क्यों कर रहे हैं विरोध?
प्रदर्शनकारियों का कहना है कि इस कानून के कारण उन्हें नौकरी से निकालने का डर है और यह उनके आत्मविश्वास को कमजोर कर रहा है. उन्हें लगता है कि यह कानून उनके मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करता है, जिसमें उचित सुनवाई का अधिकार और मनमानी सजा से बचाव का अधिकार शामिल है.
कर्मचारियों को यह भी डर है कि इस कानून का इस्तेमाल विरोधी विचार रखने वाले लोगों के खिलाफ किया जा सकता है, जिससे नागरिक सेवा में पक्षपाती निर्णय लिए जा सकते हैं. यह कानून सरकार के विरोधियों के खिलाफ एक हथियार बन सकता है.
क्या युनुस की स्थिति दांव पर है?
बांग्लादेश की अंतरिम सरकार, जिसे मुहम्मद युनुस ने स्थापित किया था, को लगातार आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है. युनुस की सरकार को लोकतांत्रिक वैधता की कमी महसूस की जा रही है क्योंकि यह सरकार जनता द्वारा चुनी नहीं गई है. चुनावों में देरी ने राजनीतिक अस्थिरता को बढ़ा दिया है, और देश में जनता के बीच असंतोष फैल रहा है.
युनुस की सरकार के खिलाफ बढ़ती हुई आलोचनाओं और विरोध प्रदर्शनों के बीच, बांग्लादेश में सामाजिक और राजनीतिक स्थिति जटिल होती जा रही है.


