बारिश के साथ बाल झरना हो गया शुरू? तो मानसून में खाएं ये 6 सुपरफूड्स, स्कैल्प रहेगी हेल्दी
बारिश का मौसम जहां ठंडक और ताजगी लेकर आता है, वहीं बालों के लिए यह मौसम किसी मुसीबत से कम नहीं. काफी लोग इस दौरान हेयर फॉल की समस्या से परेशान रहते हैं. अचानक बाल टूटने और झड़ने लगते हैं, जिससे घबराहट और चिंता बढ़ जाती है.

बारिश की बूंदों के साथ‑साथ जब बालों की लटें भी हाथ में आने लगें, तो चिंता होना लाज़िमी है. मानसून का बढ़ा हुआ ताप‑नमी (ह्यूमिडिटी) स्तर, बार‑बार होने वाले संक्रमण और शरीर के अंदरूनी बदलाव सीधे बालों पर असर डालते हैं. न्यूट्रिशनिस्ट लवनीत बत्रा बताती हैं, “मॉनसून में सिर्फ ह्यूमिडिटी ही नहीं, बल्कि पोस्ट‑फीवर इन्फ्लेमेशन और बालों के नैचुरल ग्रोथ चक्र में बदलाव भी तेज़ झड़ने की वजह बन जाते हैं.”
अच्छी बात यह है कि थोड़े‑से डाइट बदलाव और सटीक पोषण से इस मौसम में भी हेयर फॉल पर ब्रेक लगाया जा सकता है. नीचे पढ़ें बाल टूटने के 3 सबसे बड़े कारण और उन्हें रोकने वाले 6 शक्तिशाली फूड्स जिन्हें आज से ही अपनी प्लेट में शामिल कर लीजिए.
मानसून में हेयर फॉल के 3 प्रमुख कारण
बालों के विकास चक्र में बदलाव: गर्मियों की तेज़ धूप के बाद अधिक बाल टेलोजन यानी आराम की अवस्था में चले जाते हैं. बारिश शुरू होते ही वही बाल झड़ने लगते हैं.
अधिक नमी (ह्यूमिडिटी): हवा में नमी बढ़ने से बालों के क्यूटिकल्स फूल जाते हैं, कमजोर होकर आसानी से टूटते हैं. यही नमी स्कैल्प पर फंगल इन्फेक्शन की आशंका भी बढ़ाती है.
संक्रमण या बुखार के बाद की कमजोरी: मानसून में सर्दी‑जुकाम या वायरल फीवर आम हैं. बीमारी के बाद होने वाला टेलोजन एफ्लुवियम इन्फ्लेमेशन बढ़ा देता है, जिससे अचानक बाल झड़ने लगते हैं.
हेयर फॉल रोकने वाले 6 नेचुरल फूड्स
संतरा एक बेहतरीन विकल्प है, जो विटामिन C से भरपूर होता है और बाल झड़ने की एक बड़ी वजह डीएचटी (DHT) हॉर्मोन को ब्लॉक करने में मदद करता है. यह स्कैल्प की चिपचिपाहट भी कम करता है. आप रोज़ाना एक संतरा या उसका फ्रेश जूस ले सकते हैं.
कद्दू के बीज भी इस मौसम में बेहद फायदेमंद साबित होते हैं. इनमें ज़िंक और हेल्दी फैट होते हैं, जो बालों की जड़ों को मज़बूती देते हैं और हेयर फॉल को रोकने में मदद करते हैं. आप 1–2 टेबलस्पून भुने हुए कद्दू के बीजों को स्नैक्स के तौर पर ले सकते हैं.
नन्नारी यानी सेरेशनिया रूट एक आयुर्वेदिक औषधीय जड़ी-बूटी है, जो स्कैल्प में होने वाली सूजन (इन्फ्लेमेशन) को शांत करती है. यह शरीर की गर्मी को कम करती है जिससे बालों के फॉलिकल्स स्वस्थ रहते हैं. इसे आप दिन में एक बार नन्नारी शरबत के रूप में ले सकते हैं.
काले तिल भी इस मौसम में बेहद उपयोगी हैं. इनमें कैल्शियम, आयरन और ओमेगा‑3 फैटी एसिड पाया जाता है, जो बालों की जड़ों को पोषण देने और फॉलिकल्स की मजबूती बढ़ाने में मदद करता है. आप इन्हें तिल-गुड़ के लड्डू या सलाद की टॉपिंग के रूप में खा सकते हैं.
अलिव यानी हलीम सीड्स आयरन और प्रोटीन से भरपूर होते हैं. ये विशेष रूप से उन लोगों के लिए लाभकारी हैं जिन्हें हाल ही में बुखार या संक्रमण हुआ है, क्योंकि ये पोस्ट‑फीवर हेयर फॉल को कम करते हैं. 1 टीस्पून अलिव सीड्स को भिगोकर आप स्मूदी या दूध में डालकर सेवन कर सकते हैं.
इसके अलावा सूखी अदरक यानी सौंठ, एक शक्तिशाली एंटी‑इन्फ्लेमेटरी है, जो आंतों की सूजन को कम करती है और शरीर में रक्त संचार को बेहतर बनाती है. इससे सिर की त्वचा तक पोषक तत्वों की आपूर्ति सुधरती है और बाल झड़ने की समस्या में राहत मिलती है. आप सौंठ और शहद के साथ पानी या काढ़ा बनाकर दिन में एक बार ले सकते हैं.
मॉनसून में जरूर अपनाएं ये टिप्स
गीले बालों को जोर‑जोर से न पोंछें; माइक्रो‑फाइबर तौलिया का हल्का दबाव बेहतर है.
हफ्ते में दो बार माइल्ड, सल्फेट‑फ्री शैंपू से स्कैल्प क्लीन करें.
बाहर से आने के बाद बाल भीग गए हों तो तुरंत सुखाएं नमी फंगस का घर है.
डीप‑कंडीशनिंग मास्क में नारियल तेल, एलोवेरा जेल और शहद मिला कर लगाएं.
बालों का झड़ना रोका जा सकता है बशर्ते आप अंदरूनी पोषण, सही देखभाल और धैर्य तीनों का संतुलन बना लें. इस मानसून में इन 6 सुपरफूड्स को रोज़मर्रा की डायट में शामिल कीजिए और फर्क खुद महसूस कीजिए.


