पटौदी ट्रॉफी का नाम बदलने पर विवाद, सचिन तेंदुलकर बोले- 'विरासत से छेड़छाड़ ठीक नहीं'
भारत और इंग्लैंड के बीच होने वाली टेस्ट सीरीज की ट्रॉफी का नाम 'पटौदी ट्रॉफी' से बदलकर 'एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी' रखने के प्रस्ताव पर विवाद छिड़ गया है. सचिन तेंदुलकर ने इस पर आपत्ति जताते हुए BCCI और ECB से कहा है कि क्रिकेट की ऐतिहासिक विरासत से छेड़छाड़ नहीं होनी चाहिए.

भारत और इंग्लैंड के बीच खेली जाने वाली टेस्ट सीरीज को लेकर बड़ा विवाद खड़ा हो गया है. बात ट्रॉफी के नामकरण को लेकर है, जिसे 'पटौदी ट्रॉफी' से बदलकर 'एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी' करने की तैयारी की जा रही थी. इस फैसले ने क्रिकेट प्रेमियों और पूर्व खिलाड़ियों को नाराज कर दिया है. अब क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर ने खुद इस पर प्रतिक्रिया दी है.
तेंदुलकर ने इंग्लैंड और वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ECB) और बीसीसीआई (BCCI) के अधिकारियों से बात कर पटौदी खानदान की ऐतिहासिक विरासत को बनाए रखने की अपील की है. सचिन का मानना है कि जिस नाम से ये ट्रॉफी जुड़ी है, वह सिर्फ एक नाम नहीं बल्कि भारतीय क्रिकेट का गौरवशाली इतिहास है, जिसे मिटाया नहीं जाना चाहिए.
सचिन तेंदुलकर का बड़ा बयान
क्रिकबज की रिपोर्ट के अनुसार, सचिन तेंदुलकर ने BCCI और ECB अधिकारियों से बातचीत के दौरान इस बात पर जोर दिया कि ट्रॉफी का नाम बदलने से पहले क्रिकेट की ऐतिहासिक विरासत का सम्मान होना चाहिए. उन्होंने कहा कि पटौदी ट्रॉफी सिर्फ एक नाम नहीं है, यह भारतीय क्रिकेट के इतिहास की अमूल्य विरासत है. इससे छेड़छाड़ उचित नहीं है. ECB ने सचिन के इस अनुरोध को गंभीरता से लिया है और फिलहाल इस प्रस्तावित बदलाव पर पुनर्विचार किया जा रहा है.
जय शाह भी उतरे मैदान में
BCCI सचिव जय शाह ने भी इस मसले को गंभीरता से लिया है. उन्होंने ECB से बात कर यह सुनिश्चित करने को कहा है कि ट्रॉफी के नाम के साथ भारतीय क्रिकेट की विरासत से कोई छेड़छाड़ न हो. उनकी इस पहल से साफ है कि पटौदी ट्रॉफी का नाम बदले जाने का फैसला अब इतनी आसानी से लागू नहीं हो सकेगा.
ट्रॉफी नामकरण की सेरेमनी टली
WTC 2025 फाइनल के बाद इस सीरीज के नामकरण की आधिकारिक सेरेमनी होनी थी, लेकिन अहमदाबाद में हुए एयरक्राफ्ट हादसे के चलते इसे फिलहाल स्थगित कर दिया गया है. ECB ने कहा है कि भारत की स्थिति को देखते हुए अभी किसी तरह का औपचारिक ऐलान नहीं किया जाएगा.
कैसे पड़ा पटौदी ट्रॉफी नाम?
साल 2007 में जब भारत ने टेस्ट क्रिकेट में 75 साल पूरे किए थे, तब इंग्लैंड और भारत के बीच की टेस्ट सीरीज को 'पटौदी ट्रॉफी' नाम दिया गया था. यह सम्मान नवाब इफ्तिखार अली खान पटौदी और उनके बेटे मंसूर अली खान पटौदी की क्रिकेट में अहम भूमिका को समर्पित था. इफ्तिखार अली खान ऐसे इकलौते क्रिकेटर रहे हैं जिन्होंने भारत और इंग्लैंड दोनों का प्रतिनिधित्व किया है. उनके बेटे मंसूर अली खान भारत के महानतम कप्तानों में से एक माने जाते हैं.
नाम बदलने के पक्ष में पटौदी परिवार भी नहीं
रिपोर्ट के अनुसार, पटौदी परिवार को पहले ही इस नाम परिवर्तन की जानकारी दी गई थी, लेकिन वह भी इससे खुश नहीं हैं. परिवार का मानना है कि ट्रॉफी का नाम बदलना इतिहास से अन्याय होगा और भारतीय क्रिकेट की आत्मा को आहत करेगा.


