score Card

IND vs ENG: ट्रॉफी नाम विवाद पर कपिल देव की दो टूक– “इतिहास से छेड़छाड़ क्यों?”

पटौदी ट्रॉफी का नाम बदलकर एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी रखने के ECB के फैसले पर कपिल देव ने हैरानी जताई है. उन्होंने इसे "थोड़ा अजीब" बताया और कहा कि क्रिकेट में ऐसा भी होता है. कपिल का मानना है कि बदलाव के बावजूद मैदान पर खेल तो वही रहेगा.

Dimple Yadav
Edited By: Dimple Yadav

भारत और इंग्लैंड के बीच खेले जाने वाली ऐतिहासिक टेस्ट सीरीज को लेकर इस बार मैदान से ज़्यादा चर्चा मैदान के बाहर हो रही है. वजह है, इस सीरीज के नाम में किया गया बदलाव. अब तक इसे पटौदी ट्रॉफी के नाम से जाना जाता था, लेकिन इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड (ECB) ने इस बार इसे एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी नाम देने का ऐलान कर दिया. इस फैसले पर दिग्गजों की राय बंटी हुई है, और अब भारत को पहला वर्ल्ड कप दिलाने वाले कप्तान कपिल देव भी इस पर अपनी प्रतिक्रिया दे चुके हैं.

कपिल देव ने एक इवेंट में इस नाम परिवर्तन पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, "यह थोड़ा अजीब है, क्या ऐसा भी होता है? लेकिन ठीक है, क्रिकेट में सबकुछ चलता है. आख़िरकार कोई बड़ा फर्क नहीं पड़ता. क्रिकेट तो क्रिकेट है, मैदान पर वही खेल होना चाहिए." उनकी बातों से यह स्पष्ट है कि वे इस बदलाव से पूरी तरह सहमत नहीं हैं, और इसे पारंपरिक विरासत से छेड़छाड़ मानते हैं.

पटौदी ट्रॉफी का ऐतिहासिक महत्व

पटौदी ट्रॉफी का नाम मंसूर अली खान पटौदी के सम्मान में 2007 में रखा गया था. पटौदी न केवल भारत के सबसे युवा टेस्ट कप्तानों में से एक थे, बल्कि उनके पिता इफ्तिखार अली खान पटौदी ने भी भारत और इंग्लैंड दोनों के लिए क्रिकेट खेला था. यह ट्रॉफी भारत और इंग्लैंड के बीच क्रिकेट संबंधों और विरासत की प्रतीक थी. अब इसका नाम बदलकर एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी किए जाने पर कई क्रिकेट प्रेमी और दिग्गज असहज महसूस कर रहे हैं.

तेंदुलकर ने भी जताई थी असहमति

खुद सचिन तेंदुलकर, जिनके नाम पर यह ट्रॉफी रखी गई है, ने भी इस मुद्दे पर इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड से बात की थी. उन्होंने अनुरोध किया कि पटौदी विरासत को इस सीरीज से न हटाया जाए. इसके बाद ईसीबी ने पटौदी मेडल फॉर एक्सीलेंस को बनाए रखने का फैसला किया, जो विजेता टीम के कप्तान को दिया जाएगा.

युवा भारत की अग्निपरीक्षा

यह सीरीज भारत के लिए एक नए युग की शुरुआत है. शुभमन गिल पहली बार टेस्ट कप्तान बनकर मैदान में उतरेंगे. विराट कोहली, रोहित शर्मा और आर अश्विन जैसे दिग्गजों की रिटायरमेंट के बाद यह पहली बड़ी सीरीज है. भारत हाल ही में ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज हार चुका है, ऐसे में इंग्लैंड में यह नई टीम कैसी परफॉर्म करती है, यह देखना दिलचस्प होगा.

भारत बनाम इंग्लैंड टेस्ट हेड-टू-हेड

अब तक दोनों टीमों के बीच 136 टेस्ट मैच खेले गए हैं, जिनमें इंग्लैंड ने 51 और भारत ने 35 मुकाबले जीते हैं, जबकि 50 मुकाबले ड्रॉ रहे हैं. इंग्लैंड की धरती पर भारत ने 26 टेस्ट जीते हैं, वहीं 36 मैचों में हार का सामना करना पड़ा है. इस नई ट्रॉफी के नाम पर भले ही विवाद हो, लेकिन मैदान पर असली चुनौती इस युवा भारतीय टीम के सामने होगी, जिसे अपनी विरासत खुद बनानी है.

calender
19 June 2025, 10:55 AM IST

ताजा खबरें

ट्रेंडिंग वीडियो

close alt tag