चक्रवाती तूफान ‘दित्वाह’ का कहर! तमिलनाडु में मूसलाधार बारिश, चेन्नई एयरपोर्ट पर सभी फ्लाइट्स रद्द
तमिलनाडु में बारिश का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा. श्रीलंका को तबाह करके आया चक्रवाती तूफान 'दित्वा' आज तमिलनाडु-पुदुचेरी तट से टकराने वाला है. कई जिलों में मूसलाधार बारिश से जन-जीवन अस्त-व्यस्त हो चुका है. सड़कें नदियां बन गई हैं, घरों में पानी घुस आया है और अभी तूफान का असली वार बाकी है.

तमिलनाडु: चक्रवाती तूफान ‘डिटवा’ लगातार तमिलनाडु–पुडुचेरी तट की ओर बढ़ रहा है, जिससे तटीय तमिलनाडु, पुडुचेरी और दक्षिण आंध्र प्रदेश के कई इलाकों में भारी बारिश का दौर जारी है. तेज हवाओं और मूसलाधार बारिश ने दक्षिण भारत के कई हिस्सों में सामान्य जीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है. हवाई, रेल और सड़क सेवाओं पर इसका सीधा असर पड़ा है.
तूफान की वजह से कई जिलों में जनजीवन पूरी तरह से ठप हो चुका है. सबसे अधिक प्रभाव रामनाथपुरम और नागपट्टिनम में देखने को मिला है. राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (SDRF) और राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF) की कई टीमें सतर्क मोड पर हैं. कई क्षेत्रों में बहुत भारी बारिश की आशंका के चलते रेड अलर्ट जारी किया गया है.
श्रीलंका में तबाही मचाने के बाद भारत की ओर बढ़ा तूफान
श्रीलंका में भारी नुकसान पहुंचाने के बाद तूफान वर्तमान में नागपट्टिनम जिले के वेदारण्यम तट के पास केंद्रित है. यह इलाका करैक्काल से लगभग 80 किमी पूर्व और चेन्नई से करीब 250 किमी दक्षिण में स्थित है. तट के करीब पहुंचते-पहुंचते तूफान की तीव्रता कुछ कमजोर हुई है.
भारतीय मौसम विभाग (IMD) के नवीनतम बुलेटिन के अनुसार, सिस्टम अगले 24 घंटे तक उत्तर दिशा में तमिलनाडु–पुडुचेरी तट के समानांतर आगे बढ़ेगा. रविवार सुबह तूफान तट से करीब 50 किमी तथा शाम तक लगभग 25 किमी की दूरी पर आ जाएगा.
समुद्र में उफान, नावों और सड़कों को नुकसान
तूफान के प्रभाव से समुद्री हालात खतरनाक बने हुए हैं. मंदिरों के पास मंडपम क्षेत्र में लहरों ने कई मशीनीकृत मछली नौकाओं को नुकसान पहुंचाया है. कई जगह समुद्री कटाव के कारण सड़कों के हिस्से बह गए हैं. वेदारण्यम में लगातार भारी बारिश से जलभराव बढ़ा है और नमक उत्पादन पूरी तरह प्रभावित हो चुका है, जहां लगभग 9,000 एकड़ क्षेत्र में फैले साल्ट पैन जलमग्न हो गए हैं.
कई जिलों में रेड और ऑरेंज अलर्ट
कुडलूर, नागपट्टिनम, मयिलादुथुरै, विलुप्पुरम, चेंगलपट्टू और पुडुचेरी–करैक्काल क्षेत्र को रेड अलर्ट जोन में रखा गया है. वहीं पुडुकोट्टई, तंजावुर, तिरुवारूर, अरियालुर, पेराम्बलूर, त्रिची, सलेम, कल्लाकुरिची, तिरुवन्नामलाई, चेन्नई, कांचीपुरम, तिरुवल्लूर और रणिपेट के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है.
IMD ने रविवार सुबह 70–80 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली तेज हवाओं की चेतावनी दी है, जो 90 किमी प्रति घंटे तक पहुंच सकती हैं. एक दिसंबर की सुबह से हवाओं की गति घटकर 45–55 किमी प्रति घंटा रहने की उम्मीद है. समुद्री हालात फिलहाल “हाई” श्रेणी में हैं, जो धीरे-धीरे सुधरकर 1 और 2 दिसंबर को 'वेरी रफ टू रफ' होने की संभावना है.
युद्धस्तर पर तैयारियां, 28 टीमें तैनात
तमिलनाडु के राजस्व और आपदा प्रबंधन मंत्री के. रामचंद्रन ने कहा कि अभी यह स्पष्ट नहीं है कि तूफान चेन्नई के निकट टकराएगा या नहीं, लेकिन सरकार पूरी तरह तैयार है.
उन्होंने कहा कि एसडीआरएफ और एनडीआरएफ सहित लगभग 28 आपदा प्रतिक्रिया दल तैयार हैं. हम अन्य राज्यों से 10 अतिरिक्त टीमों को हवाई मार्ग से लाने की योजना बना रहे हैं. भारतीय वायु सेना और भारतीय तटरक्षक बल को सतर्क कर दिया गया है. कल जिलों में निगरानी दल भी भेजे जाएंगे.
उन्होंने बताया कि अब तक किसी की मृत्यु की खबर नहीं है. हालांकि 16 पशुधन की मौत हुई है और 24 झोपड़ियां क्षतिग्रस्त हुई हैं. उनके अनुसार बारिश से अभी तक कोई बड़ा प्रभाव नहीं पड़ा है, लेकिन हम स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहे हैं और बचाव एवं राहत दल तैनात कर दिए हैं.
करीब 6,000 राहत शिविर स्थापित कर दिए गए हैं. मौसम अपडेट के अनुसार तूफान चेन्नई तट के समानांतर आगे बढ़ सकता है, इसलिए जनता से मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन द्वारा जारी सुरक्षा निर्देशों का पालन करने की अपील की गई है.
एक अधिकारी ने बताया कि 14 NDRF टीमें विलुप्पुरम, चेंगलपट्टू, तिरुवल्लूर, नागपट्टिनम, तिरुवारूर, तंजावुर, पुडुकोट्टई और मयिलादुथुरै सहित कई संवेदनशील जिलों में तैनात की गई हैं. पुडुचेरी और चेन्नई के लिए भी अतिरिक्त टीमें भेजी गई हैं. खराब समुद्री स्थितियों के कारण मछुआरे दूसरे दिन भी समुद्र में नहीं उतरे.
उड़ानें रद्द, ट्रेन सेवाएं प्रभावित
चेन्नई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के अधिकारियों ने बताया कि तूफान के कारण 54 उड़ानें रद्द की गई हैं. मौसम विभाग की चेतावनी के बाद, जिसमें 10–15 नॉट की गति से उत्तरी-पूर्वी दिशा से तेज हवाओं की आशंका जताई गई थी, हवाई अड्डे ने एक्स पर पोस्ट कर कहा कि सुरक्षा उपायों को बढ़ा दिया गया है.
सदर्न रेलवे ने भी ट्रेनों के संचालन में बदलाव किए हैं. विभाग ने कहा कि पंबन ब्रिज पर हवा की रफ्तार अब अनुमत सीमा के भीतर है और जल्द ही रामेश्वरम के लिए ट्रेन परिचालन बहाल किया जाएगा.
चेन्नई में जल संसाधन विभाग ने बताया कि केमबारमबक्कम और पूंडी जलाशयों से एहतियातन पानी समुद्र में छोड़ा जा रहा है ताकि बांधों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके. पर्यटकों को 1964 के रामेश्वरम तूफान में नष्ट हुए धनुषकोडी क्षेत्र में न जाने की कड़ी सलाह दी गई है. ‘डिटवा’ नाम यमन द्वारा सुझाया गया था, जिसका संबंध सोकोट्रा द्वीप के उत्तर–पश्चिम तट पर स्थित डिटवा लैगून से माना जाता है.


