फरीदाबाद में एसी ब्लास्ट ने ली तीन जिंदगियां, बेटे की हालत नाजुक, कॉलोनी में पसरा मातम
हरियाणा के फरीदाबाद की ग्रीन फील्ड कॉलोनी में तड़के सुबह एसी ब्लास्ट से दिल दहला देने वाला हादसा हुआ। आग में घिरकर पति, पत्नी और बेटी की मौत हो गई जबकि बेटा गंभीर हालत में अस्पताल में जिंदगी की जंग लड़ रहा है।

National News: तड़के सुबह तीन बजे कॉलोनी के एक मकान में सोमवार ऐसा धमाका हुआ मानो बम फट गया हो। लोग नींद से घबराकर बाहर निकले तो सामने का मकान धुंए और आग से घिरा था। पहली मंजिल पर आग लगी थी लेकिन वहां रह रहे लोग बाहर निकल आए। पड़ोसियों को इस बात का अंदाजा नहीं था कि दूसरी मंजिल पर पूरा परिवार गहरी नींद में था और धुएं से घिरकर जान गंवा बैठेगा। धमाका इतना तेज था कि दूर-दराज तक सुनाई दिया और लोगों में दहशत फैल गई।
सेकंड फ्लोर पर मौत का मंजर
धमाके के बाद आग इतनी तेजी से फैली कि कुछ ही मिनटों में दूसरी मंजिल तक पहुंच गई। परिवार का दरवाजा अंदर से लॉक था जिससे वे बाहर नहीं निकल पाए। धुंए ने चारों ओर ऐसा जाल बुना कि कुछ ही देर में दम घुटने से तीनों की मौत हो गई। बचावकर्मी जब पहुंचे और दरवाजा तोड़ा तो अंदर पति, पत्नी और बेटी की लाशें मिलीं। वहां का दृश्य देखकर हर कोई सन्न रह गया। लोग कहने लगे कि अगर समय पर बचाव होता तो शायद तीन जानें बच सकती थीं।
परिवार की खुशियां राख में बदलीं
मृतकों की पहचान सचिन कपूर, उनकी पत्नी रिंकू कपूर और बेटी सुजान कपूर के रूप में हुई। हादसे में परिवार का पालतू डॉग भी जान नहीं बचा सका। इस त्रासदी ने परिवार की खुशियां पूरी तरह छीन लीं। सिर्फ बेटा आर्यन बचा है जो गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती है। डॉक्टरों के अनुसार उसकी स्थिति नाजुक बनी हुई है और लगातार इलाज जारी है। पड़ोसियों की आंखों में आंसू हैं और हर कोई कह रहा है कि इस परिवार की हंसी हमेशा के लिए बुझ गई।
पड़ोसियों ने देखा भयानक मंजर
पड़ोसी मयंक बताते हैं कि धमाके की गूंज सुनकर उनकी मां सबसे पहले उठीं। उन्होंने बेटे को जगाया और बताया कि पड़ोसियों के घर में आग लगी है। जब वे मौके पर पहुंचे तो दूसरी मंजिल पर आर्यन ग्रिल से लटका हुआ दिखा। उसके पैर में गंभीर चोट थी। गेट को कटर मशीन से काटकर उसे निकाला गया और तुरंत अस्पताल भेजा गया। पड़ोसी महिलाएं भी रो-रोकर बता रही थीं कि आग से निकलता धुंआ इतनी तेजी से ऊपर गया कि सेकंड फ्लोर का परिवार फंसकर मर गया।
दमकल और पुलिस का रेस्क्यू
धमाका होते ही इलाके में हड़कंप मच गया। सूचना मिलते ही पुलिस और दमकल विभाग मौके पर पहुंचे। कई घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया। पुलिस ने शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए सिविल अस्पताल भेजा। अधिकारी कह रहे हैं कि हादसे की जांच की जा रही है और पता लगाया जाएगा कि आखिर एसी ब्लास्ट कैसे हुआ। लोगों में यह सवाल भी उठ रहा है कि क्या एसी में खराबी थी या लापरवाही का नतीजा।
पूरे इलाके में मातम पसरा
ग्रीन फील्ड कॉलोनी में इस हादसे के बाद गहरा मातम छा गया है। परिवार की अचानक हुई मौत ने हर किसी का दिल तोड़ दिया। कॉलोनी के लोग आपस में कह रहे थे कि अगर आग पर वक्त रहते काबू पा लिया जाता तो शायद इतनी बड़ी त्रासदी न होती। हर किसी की आंखें नम हैं और लोगों के बीच डर भी है कि कहीं ऐसा हादसा उनके घरों में न हो जाए। परिवार को जानने वाले सभी लोग गमगीन हैं और यही सवाल कर रहे हैं कि आखिर ऐसी लापरवाही कब तक मासूम जिंदगियां निगलती रहेगी।
सुरक्षा पर उठे बड़े सवाल
फरीदाबाद की यह घटना सिर्फ एक हादसा नहीं बल्कि सुरक्षा पर सवाल खड़े करती है। टेक्नोलॉजी पर भरोसा करते हुए लोग एसी को घरों का अहम हिस्सा बना चुके हैं, लेकिन वही एसी कब मौत का कारण बन जाए कोई नहीं जानता। हादसे ने दिखा दिया कि आधुनिक सुविधाओं के बावजूद हमारी सुरक्षा कितनी कमजोर है। लोगों की राय है कि सरकार और निर्माता कंपनियों को ऐसे हादसों की जांच करनी चाहिए और भविष्य में रोकथाम के लिए सख्त कदम उठाने चाहिए।


