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अब खून और पानी एक साथ नहीं बहेंगे-भारत की चेतावनी से कांपा इस्लामाबाद

पहलगाम हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान को सख्त संदेश दिया है. अब न बातचीत होगी, न व्यापार और न ही पानी बहेगा, जब तक पाकिस्तान आतंक का साथ नहीं छोड़ता. दिल्ली ने साफ किया—PoK खाली करो, तभी कोई बात आगे बढ़ेगी.

Lalit Sharma
Edited By: Lalit Sharma

नई दिल्ली. भारत ने एक बार फिर दुनिया को स्पष्ट संकेत दे दिया है—अब पाकिस्तान से किसी तरह की बातचीत तभी होगी जब वह आतंकवाद का पूरा तिलस्म तोड़ डालेगा. गुरुवार को विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने साफ कहा कि न तो अब एकतरफा बातचीत होगी और न ही कोई रियायत. भारत ने कहा है कि जम्मू-कश्मीर पर बातचीत की कोई संभावना तब तक नहीं जब तक पाकिस्तान अवैध रूप से कब्जाए गए कश्मीर को भारत को नहीं लौटाता. साथ ही वो आतंकी जिनकी फेहरिस्त भारत ने पहले ही सौंपी है, उन्हें सौंपे बिना कोई बातचीत संभव नहीं.

पाकिस्तान को अब यह समझ लेना चाहिए कि हर मोल-भाव की सीमा होती है. आतंकवाद और बातचीत एक साथ नहीं चल सकते, जैसे पानी और खून एक साथ नहीं बह सकते. यही बात भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले भी स्पष्ट कर चुके हैं, और अब यह नीति हकीकत बन चुकी है.

पानी की धार अब भरोसे पर नहीं बहती

पहलगाम हमले के बाद भारत ने सिंधु जल संधि को ठंडे बस्ते में डाल दिया. इस संधि के तहत पाकिस्तान को मिलने वाला पानी अब तभी मिलेगा जब वह सीमा पार आतंकवाद को पूरी तरह त्यागने का ठोस प्रमाण देगा. भारत ने इस संधि के तहत अपने हिस्से का पानी पूरी तरह उपयोग करने के लिए दशकों से बांध और लिंक परियोजनाएं खड़ी की हैं. भाखड़ा, पोंग, पंडोह जैसे बांध अब रणनीतिक महत्व के बन चुके हैं. 1960 की संधि अब इतिहास के पन्नों में तब तक बंद रहेगी जब तक पाकिस्तान की नीति में कोई क्रांतिकारी बदलाव नहीं आता. भारत अब अपनी नदियों की हर बूंद का हिसाब रखेगा.

पाकिस्तान की ‘शांति पेशकश’

पाक प्रधानमंत्री शहबाज़ शरीफ़ ने बातचीत और व्यापार का झंडा फिर से उठाया, लेकिन भारत के लिए यह सिर्फ पुरानी चाल का नया चेहरा है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान ईमानदारी से सहयोग को तैयार है, लेकिन भारत को धमकी न दे कि वह पानी रोकेगा. भारत इस बात को खारिज कर चुका है. आतंक का पोषण करने वाला मुल्क अब दोस्ती की भाषा में नहीं, नीति और नतीजे की भाषा में सुना जाएगा.

अब गेंद भारत के पाले में है, फैसले की बारी अब हमारी 

पहलगाम के घावों का जवाब भारत ने सटीक सर्जिकल स्ट्राइक से दिया. ऑपरेशन सिंदूर में 100 से ज्यादा आतंकवादी मारे गए. पाकिस्तान की तरफ से हुई जवाबी सैन्य कोशिशों को भी भारतीय सेना ने ज़मीन पर रौंद दिया. जब पाकिस्तान के DGMO ने भारत से संपर्क कर युद्धविराम की बात की, तो साफ हो गया कि अब संतुलन भारत के हाथ में है. अब यह भारत तय करेगा कि कब क्या होगा.

नया दौर, नई नीति, नई चेतावनी

भारत अब न तो दबाव में बात करेगा और न ही सहानुभूति में. अगर पाकिस्तान को भारत के साथ कोई रिश्ता चाहिए, तो पहले उसे अपने अंदर झांकना होगा. आतंक का रिश्ता खत्म किए बिना, भारत से कोई भी रिश्ता मुमकिन नहीं है. अब भारत सिर्फ जवाब नहीं देता—वो हिसाब भी करता है. और यह नया भारत, हर बूँद का, हर जान का और हर ज़ख्म का पूरा बदला लेने में यकीन रखता है.

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29 May 2025, 06:42 PM IST

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