ट्रंप का फिर यूटर्न! ईरान से कर रहें सुलह की तैयारी, सेंक्शन हटाने पर भी विचार
ईरान और इज़राइल के बीच हाल ही में हुए संघर्षविराम के बाद अब पश्चिम एशिया की राजनीति में बड़ा उलटफेर देखने को मिल रहा है. अमेरिकी पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के प्रशासन से जुड़े सूत्रों के हवाले से खबर है कि अमेरिका ईरान को 20 से 30 अरब डॉलर की आर्थिक मदद देने पर विचार कर रहा है, वह भी उस वक्त जब ईरान पर लगे प्रतिबंधों को हटाने की योजना भी तैयार हो रही है.

ईरान और इज़राइल के बीच संघर्षविराम के बाद अब अमेरिका का रुख तेजी से बदलता दिख रहा है. अमेरिकी पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के प्रशासन से जुड़े सूत्रों के हवाले से जानकारी मिली है कि अमेरिका अब ईरान के सिविल न्यूक्लियर प्रोग्राम के लिए 20 से 30 अरब डॉलर की मदद देने की तैयारी में है, साथ ही उस पर लगे कुछ प्रतिबंधों को हटाने पर भी विचार हो रहा है. इस बीच इजरायली रक्षा मंत्री इजराइल काट्ज के बयान ने भू-राजनीतिक हलचल और बढ़ा दी है.
काट्ज ने साफ कहा कि इज़राइल को इस बात की जानकारी नहीं थी कि अमेरिका इस युद्ध में शामिल होगा या नहीं. उन्होंने यह भी दावा किया कि अगर जरूरत पड़ी तो इजराइल दोबारा ईरान पर हमला करेगा. उनका यह बयान ऐसे समय आया है जब पश्चिम एशिया में शक्ति संतुलन को लेकर बड़े स्तर पर राजनीतिक घमासान जारी है.
ट्रंप की योजना
सूत्रों के अनुसार, ट्रंप प्रशासन सीधे ईरान को कोई फंड नहीं देगा, बल्कि अपने सहयोगी अरब देशों के माध्यम से यह आर्थिक सहायता पहुंचाई जाएगी. इस मदद का उद्देश्य ईरान के सिविल न्यूक्लियर प्रोग्राम को समर्थन देना है, जो इस पूरे क्षेत्र की शांति और स्थिरता को लेकर अमेरिकी रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है.
इजराइल को नहीं थी जानकारी
इजरायली रक्षा मंत्री इजराइल काट्ज ने चैनल 13 और चैनल 12 को दिए इंटरव्यू में कहा, 'सरकार ने यह नहीं जाना था कि अमेरिका इस युद्ध में शामिल होगा या नहीं, लेकिन फिर भी हमने कार्रवाई की.' उन्होंने दो टूक कहा, 'हमें नहीं पता कि ईरान का यूरेनियम भंडार कहां है, लेकिन जरूरत पड़ी तो हम दोबारा हमला करेंगे.'
ईरान के यूरेनियम भंडार को लेकर भी चिंता
काट्ज ने यह भी स्वीकार किया कि इज़राइल को ईरान के संवर्धित यूरेनियम के स्थान की पूरी जानकारी नहीं है. उन्होंने कहा, 'हमारे सैन्य हमलों ने ईरान की परमाणु संवर्धन क्षमताओं को काफी हद तक तबाह कर दिया है. सामग्री वह चीज नहीं थी जिसे बाहर निकाला जाना जरूरी था.'
काट्ज का बयान
काट्ज ने खामेनेई को लेकर तीखा बयान देते हुए कहा, अगर खामेनेई हमारी पहुंच में होते, तो हम उन्हें मार गिराते. हमने कोशिश जरूर की थी.' जब उनसे पूछा गया कि क्या इसके लिए अमेरिका से इजाजत ली गई थी, तो उन्होंने कहा कि हमें इन चीजों के लिए किसी की अनुमति की जरूरत नहीं है.'
ट्रंप का दावा
17 जून को डोनाल्ड ट्रंप ने एक सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा था, 'हमें अच्छे से पता है कि तथाकथित सुप्रीम लीडर कहां छिपे हैं. वह आसान लक्ष्य हैं, लेकिन अभी हम उन्हें खत्म नहीं करेंगे (कम से कम फिलहाल नहीं).'
क्या ईरान का न्यूक्लियर प्रोग्राम तबाह हो गया है?
हाल के दिनों में यह चर्चा तेज है कि क्या इज़राइली हमलों ने ईरान के परमाणु कार्यक्रम को गंभीर रूप से नुकसान पहुंचाया है. काट्ज़ और अन्य इज़रायली-अमेरिकी अधिकारियों का मानना है कि तेहरान को भारी नुकसान हुआ है. काट्ज़ ने कहा, 'ईरान को फिर से खड़ा होने में सालों लगेंगे, लेकिन हम ऐसा नहीं होने देंगे.'


